नेपाल में सत्ताधारी माओवादियों का अवैध हथियार सौंपने से इनकार
काठमांडू, 31 दिसम्बर (आईएएनएस)। दो साल पहले शांति समझौता कर वर्तमान में देश की सत्ता की बागडोर संभाल रहे माओवादियों ने बुधवार को अंतर्राष्ट्रीय समुदाय के साथ-साथ अन्य पार्टियों का विश्वास हासिल करने के लिए अपने अवैध हथियार सौंपने से इनकार कर दिया।
देश में राजशाही के खिलाफ 10 वर्षो तक माओवादी विद्रोह को नेतृत्व प्रदान करने वाले प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहाल प्रचंड ने अपनी छापेमार सेना के हथियार सौंपने के अनुरोध को खारिज कर दिया।
इस बारे में बुधवार को नेपाली कम्युनिस्ट पार्टी-एकीकृत मार्क्सवादी लेनिनवादी (यूएमएल) के वरिष्ठ नेता माधव कुमार नेपाल के साथ प्रचंड ने एक बैठक की। बैठक के बाद नेपाल ने कहा कि उन्होंने प्रचंड से कहा कि अगर छापेमार सेना ने सही मायने में हिंसा छोड़ दी है तो उसे विश्व समुदाय के साथ-साथ अन्य दलों का विश्वास हासिल करने के लिए अपने अवैध हथियार सौंप देना चाहिए। यूएमएल के समर्थन से ही अगस्त महीने में प्रचंड प्रधानमंत्री की कुर्सी तक पहुंच पाए।
प्रंचड ने यह बैठक पूर्व प्रधानमंत्री गिरिजा प्रसाद कोइराला की मुख्य विपक्षी पार्टी के साथ समझौते के बारे में नेपाल की राय जानने के लिए बुलाया था।
नेपाल की अंतरिम संसद में नेपाली कांग्रेस दूसरी सबसे बड़ी पार्टी है। प्रचंड के साथ विवाद के कारण नेपाली कांग्रेस ने संसद का बहिष्कार कर रखा है। ऐसे में प्रचंड के सामने नए संविधान के मसौदे को तैयार करने और छापेमार पीपुल्स लिबरेशन आर्मी को राष्ट्रीय सेना में मिलाने में चुनौतियां पैदा हो गई है।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।