दस-दस रुपये मिलाकर दो छात्रों ने खरीदा 20 रुपये का चाकू और कर दी मास्टर की हत्या
इलाहाबाद।
उत्तर
प्रदेश
के
इलाहाबाद
में
हुए
शिक्षक
राम
सेवक
हत्याकांड
का
सोमवार
को
पुलिस
ने
खुलासा
कर
दिया
है।
पुलिस
ने
इस
मामले
में
एक
छात्र
को
गिरफ्तार
किया
है।
पुलिस
के
मुताबिक
इस
हत्या
में
दो
छात्र
शामिल
थे।
वारदात
को
अंजाम
देने
के
लिए
छात्रों
ने
दस-दस
रुपये
मिलाकर
20
रुपये
का
चाकू
खरीदा
था।
हत्यारे
छात्रों
में
से
एक
को
पुलिस
ने
दबोच
लिया
है।
जबकि
उसके
साथी
की
तलाश
जारी
है।
एसएसपी
आनंद
कुलकर्णी
ने
बताया
कि
मुकेश
व
उसका
रूम
पार्टनर
नरेन्द्र
ही
हत्या
के
मुख्य
अभियुक्त
हैं।
शानों
शौकत
की
जिंदगी
के
लिये
ये
दोनों
लूट
की
घटनाओ
को
अंजाम
देने
लगे
थे
और
एक
दिन
शिक्षक
रामसेवक
भी
इन
दोनों
छात्रों
का
निशाना
बन
गए।
कैसे
आए
पकड़
में
पुलिस
के
अनुसार
मुकेश
और
नरेन्द्र
शनिवार
की
रात
लूट
की
वारदात
को
अंजाम
देने
के
लिये
सड़क
पर
बाइक
से
रेकी
कर
रहे
थे।
तभी
व्यापारी
रमेश
चंद्र
जायसवाल
उधर
से
गुजरे।
दोनों
ने
कुछ
दूर
रमेश
का
पीछा
किया
और
बाइक
ओवरटेक
कर
चाकू
से
हमला
कर
दिया।
रमेश
ने
बचाओ-बचाओ
की
आवाज
लगाई
तो
ग्रामीण
मदद
के
लिये
दौड़
पड़े।
चारों
तरफ
से
घिरे
दोनों
युवक
भागने
लगे।
लेकिन
मुकेश
को
ग्रामीणों
ने
बाइक
पर
बैठने
से
पहले
ही
दबोच
लिया
और
पीटकर
पुलिस
के
हवाले
कर
दिया।
20
रुपये
में
खरीदा
था
सब्जी
काटने
वाला
चाकू
पुलिस
के
अनुसार
मुकेश
ने
20
रूपये
में
सब्जी
काटने
वाला
चाकू
खरीदा
था
और
फिर
उसी
से
वारदात
को
अंजाम
देने
लगा।
इन
दोनों
ने
तीसरी
घटना
को
अंजाम
दिया
था।
लेकिन
मुकेश
तीसरी
घटना
में
पकड़ा
गया।
इन
दोनों
ने
सबसे
पहले
25
जून
को
अलीपुर
में
चाकू
घोपकर
राममिलन
व
आसाराम
को
लूटा
था।
फिर
6
सितंबर
को
रिटायर
शिक्षक
राम
सेवक
यादव
की
चाकू
घोपकर
हत्या
कर
लूट
की
घटना
को
अंजाम
दिया
और
अब
शनिवार
को
व्यापारी
से
20
हजार
रुपए
लूटे
थे।
गौरतलब
है
कि
मऊ
आइमा
के
रहने
वाले
मुकेश
के
पिता
की
मौत
के
बाद
मां
ने
बड़ी
मुश्किल
से
बेटे
को
पढाया
था।
वह
बेटे
को
इंजीनियर
बनाना
चाहती
थी।
इसलिये
बेटे
को
इलाहाबाद
पढ़ने
व
तैयारी
के
लिये
भेज
दिया
था।
यहां
वह
एसएससी
की
तैयारी
कर
रहे
नरेन्द्र
के
साथ
रहने
लगा
था
और
बिगड़
गया
था।