हिंसा, बंद और कर्फ्यू से जूझते हुए कश्मीरी बच्चे ने हासिल किया बड़ा मुकाम
हिंसा और बंद के बावजूद हाशिम, स्पोर्ट्स एकेडमी जाकर कराटे सीखता रहा और एशियन चैंपियनशिप में गोल्ड जीतकर भारत का झंडा गाड़ दिया।
श्रीनगर। जब कुछ करने का जज्बा हो तो बड़ी से बड़ी बाधाओं से लड़कर इंसान मंजिल पा लेता है। कश्मीर के एक 7 साल के बच्चे ने इसी बात को साबित किया है।
हिंसा, कर्फ्यू और कश्मीर बंद के बावजूद हाशिम मंसूर, एकेडमी जाकर कराटे सीखता रहा और अब उसने एशिया लेवल की चैंपियनशिप में भारत के लिए गोल्ड मेडल जीतकर देश का सर ऊंचा किया है।
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जुलाई से ही कश्मीर घाटी में हिंसा, बंद और कर्फ्यू
8 जुलाई को हिज्बुल मुजाहिदीन आतंकी बुरहान वानी के सुरक्षाबल के साथ एनकाउंटर में मारे जाने के बाद से कश्मीर घाटी हिंसा की आग में झुलस रही है।
पिछले चार महीने से कश्मीर घाटी में विरोध प्रदर्शनों, पथराव और सुरक्षाबलों के साथ झड़प में कई लोग मारे गए व सैकड़ों लोग घायल हुए हैं। अलगाववादियों ने घाटी में बंद का आह्वान कर रखा है। हिंसा की वजह से घाटी में कर्फ्यू भी लगा।
स्कूल, कचहरी, बाजार, सब बंद चल रहे हैं और लोगों का जीना मुश्किल हो गया है। स्कूल बंद होने और उसको आग में झोंकने की वजह से घाटी के बच्चों का भविष्य अधर में लटका हुआ है। ऐसे माहौल से जूझकर हाशिम ने बेमिसाल सफलता हासिल की है।
ऐसे खराब माहौल में भी जूझता रहा हाशिम
घाटी में हिंसा, बंद और कर्फ्यू से जूझते हुए 7 साल का हाशिम मंसूर, लोकल कराटे एकेडमी में जाकर रोज प्रैक्टिस करता रहा और उसने एशियन यूथ कराटे चैंपियनशिप में गोल्ड मेडल जीतकर भारत का झंडा गाड़ दिया।
अपनी सफलता के बारे में हाशिम बताता है, 'स्कूल से पिछले कई महीनों से दूर रहने की वजह से मुझे कराटे की प्रैक्टिस करने का अच्छा-खासा मौका मिला। यह मेरा लक था कि कोच के अंडर में मैंने काफी समय तक प्रैक्टिस किया।'
मास्टर फैसल अली की एकेडमी से निकला दूसरा सितारा
कोच मास्टर फैसल अली, कश्मीर के बांडीपोर में अपनी स्पोर्ट्स एकेडमी चलाते हैं। हाशिम मंसूर ने उन्हीं से ट्रेनिंग ली है। बांडीपोर भी हिंसा और विरोध प्रदर्शनों से प्रभावित इलाका है।
हाशिम से पहले कोच फैसल अली से ट्रेनिंग लेकर किकबॉक्सिंग में इसी महीने 8 साल की तजामुल इस्लाम ने वर्ल्ड किकबॉक्सिंग चैंपियनशिप में गोल्ड मेडल जीतकर इतिहास रचा था।
बांडीपोर इलाके के गांव नादिहाल में छोटा-मोटा बिजनेस करने वाले हाशिम के पिता ने बेटे की सफलता में कोच के योगदान के बारे में बताया, 'स्पोर्ट्स को लेकर हाशिम के अंदर पैशन था। उसने फैसल अली की एकेडमी में कराटे सीखना शुरू किया। कोच ने ही एशियन चैंपियनशिप के लिए फंड की व्यवस्था की।'
'मैं देश के लिए गोल्ड जीतकर रोमांचित हूं'
अपनी जीत पर खुशी जाहिर करते हुए सिंबयोसिस स्कूल की दूसरी क्लास के छात्र हाशिम ने कहा, 'देश के लिए गोल्ड मेडल जीतकर मैं रोमांचित हूं।'
3 दिन तक चले इस एशियन चैंपियनशिप का समापन 29 नवंबर को हुआ। फाइनल राउंड में श्रीलंका के प्रतिद्वंद्वी खिलाड़ी को हराकर हाशिम ने गोल्ड मेडल हासिल किया।
आल इंडिया यूथ कराटे फेडरेशन ने 19 देशों के इस चैंपियनशिप का आयोजन किया। हाशिम इस जीत के बाद 2017 के सितंबर में यूरोप में होने वाले वर्ल्ड कराटे चैंपियनशिप में देश का प्रतिनिधित्व करेगा।
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