दंगल में पुरुष पहलवान नहीं झेल पाया गांव की इस पहलवान लड़की का 'धोबी पछाड़ दांव', देखें तस्वीरें
Damoh News, दमोह। दंगल फिल्म का वो सीन तो आपको याद ही होगा, जिसमें पहलवान महावीर फोगाट अपनी बेटी को दंगल में लेकर आते हैं और पुरुष पहलवान के साथ हुए मुकाबले में वो उसे चित कर देती है। मध्यप्रदेश में ऐसा मामला रील नहीं बल्कि रियल में सामने आया है।
दरअसल, मध्यप्रदेश के दमोह जिले के पथरिया में नगर पालिका की ओर से दंगल का आयोजन किया गया। उसमें प्रदेशभर से सैकड़ों पहलवान पहुंचे। छिंदवाड़ा का रणजीत भी अपनी चचेरी बहन पहलवान पुष्पा विश्वकर्मा (Pushpa Vishwakarma) को लेकर आया था। पुष्पा का मुकाबला 12 फरवरी को सागर जिले के पहलवान विकास से हुआ।
दंगल गर्ल स्टाइल में लगाए दांव पेच
पहलवान पुष्पा और विकास मैदान में उतरे तो शुरुआत में सबको लगा कि पुष्पा उसके सामने टिक नहीं पाएगी, लेकिन जब पुष्पा ने दंगल गर्ल स्टाइल में दांव पेच लगाने शुरू किए तो पहलवान विकास बंगले झांकने लगा। दर्शकों में भी उत्साह बढ़ गया। पुष्पा ने विकास पर धोबी पछाड़ दांव लगाया, जिसे वो झेल ही नहीं पाया और चित हो गया। इस पर पूरे आयोजन स्थल तालियों की गड़गड़ाहट से गूंज् उठा। पुष्पा की जीत पर हर कोई यही कहता नजर आया कि म्हारी छोरियां छोरों से कम हैं के।
गांव में जश्न का माहौल
आयोजक लक्ष्मण सिंह ठाकुर ने बताया कि पथरिया ने नगर पालिका की ओर से हर साल कुश्ती दंगल का आयोजन किया जाता है। इस बार के दंगल में पहलवान पुष्पा और विकास का मुकाबल सबके आकर्षण का केन्द्र रहा। वैसे इस तरह के मुकाबले से समाज में संदेश जाता है कि बेटियों किसी मामले में बेटों से पीछे नहीं है। उधर, पुष्पा के गांव में भी उसकी जीत की चर्चा रही और जश्न का माहौल रहा।
जानिए कौन है पहलवान पुष्पा विश्वकर्मा
चचेरे भाई रणजीत चंद्रवंशी ने बताया कि पहलवान पुष्पा विश्वकर्मा छिंदवाड़ा के गांव भोमा सिवनी के किसान परिवार की बेटी है। पुष्पा का बचपन से ही पहलवानी करने का शौक था। पहले हम लोग गांव भोमा सिवनी में तैयारी करते थे। फिर उपखण्ड और जिला स्तर की कुश्ती दंगल में हिस्सा लेना शुरू किया। अच्छे प्रदर्शन के चलते पुष्पा का चयन भोपाल स्थित ताप्ता टोपे स्टेडियम में हो गया। वर्तमान में कॉलेज की पढ़ाई के साथ-साथ पुष्पा भोपाल में पहलवानी की तैयारी भी कर रही है। पुष्पा का सपना देश के लिए ओलम्पिक से कुश्ती का मेडल लाना है।