Video: जब अपने पिता जॉर्ज एचडब्लूय बुश को याद करके फूट-फूटकर रोने लगे जॉर्ज बुश
वॉशिंगटन। बुधवार को अमेरिका के 41वें राष्ट्रपति जॉर्ज एचडब्लूय बुश का वॉशिंगटन के नेशनल कैथेड्रेल में अंतिम संस्कार किया गया। इस मौके पर बुश फैमिली का हर सदस्य मौजूद था। बुश सीनियर के बड़े बेटे और 43वें अमेरिकी राष्ट्रपति जॉर्ज डब्लूय बुश ने इस मौके पर अंतिम बार अपने पिता के लिए विदाई संदेश पढ़ा। अपने पिता को याद करके बुश जूनियर फूट-फूटकर रोए। वह अपने आंसू नहीं रोक पा रहे थे जब यह बता रहे थे कि बुश सीनियर एक महान नेता होने के अलावा एक महान पिता भी थे। बुश सीनियर के अंतिम संस्कार के समय वर्तमान राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और फर्स्ट लेडी मेलानिया ट्रंप के अलावा पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा और उनकी पत्नी मिशेल के साथ ही बिल क्लिंटन और हिलेरी क्लिंटन भी मौजूद थीं।
आपने फिर से मां का हाथ पकड़ा है
72 वर्ष के जॉर्ज बुश अपने पिता के लिए विदाई संदेश पढ़ रहे थे। कैथेड्रेल में मौजूद सभी लोगों के सामने बुश ने संदेश पढ़ना शुरू किया। बुश ने कहा, 'शादी के 73 वर्षों बाद भी डैड ने हमें सिखाया कि एक अच्छा पति होने के क्या मायने हैं। वह मॉम के लिए पूरी तरह से समर्पित थे।' बुश ने आगे कहा, 'हम आपको बहुत मिस करेंगे अपने आंसूओ में और हम आपको बताना चाहते हैं कि आपको जानना और आपको प्यार करना हमारे लिए वरदान है। आप एक महान और सज्जन व्यक्ति थे और एक ऐसे पिता थे जिसकी कल्पना हमेशा एक बेटा या बेटी करते हैं।' बुश ने कहा कि इस दुख में भी हमें यह मालूम है कि आप रॉबिन को गले लगा रहे हैं और आपने फिर से मां का हाथ पकड़ा हुआ है।
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बच्चों को बताया असफलताओं से निराश न हों
बुश ने कहा कि अपने अंतिम दिनों में उनके डैड की जिंदगी काफी लोगों को शिक्षा देने वाली थी। जैसे-जैसे बुश सीनियर बूढ़े हो रहे थे वह अपने बच्चों को बता रहे थे कि एक सम्मानित, जिंदादिल, मजाकिया और एक दयालु इंसान रहते हुए आगे कैसे बढ़ा जाए। बुश ने कहा कि उनके पिता ने हमेशा हर व्यक्ति में अच्छाई देखने की कोशिश की और आमतौर पर वह अच्छाई तलाश ही लेते थे। उन्होंने यह स्वीकारा कि असलफता जिंदगी का ही एक हिस्सा है लेकिन सिर्फ असफलताएं ही हमारी जिंदगी को बयां नहीं कर सकती हैं।
अस्तपाल में चोरी से पीते थे वोदका
इसके बाद बुश ने वह हिस्सा पढ़ा जिसने उनकी और परिवार के हर सदस्य की आंखों में आंसू ला दिए। उन्होंने कहा, 'उनके पिता मौलिक तौर पर एक आशावादी व्यक्ति थे और उनके आशावाद ने ही उनके बच्चों का मार्गदर्शन किया और हमें यह विश्वास करना सीखाया कि कुछ भी ऐसा नहीं है जो असंभव है।' उन्होंने कहा कि बुश सीनियर को यह बात बखूबी पता थी कि अंतिम समय में खुद को कैसे जवां रखा जाए। बुश ने बताया कि जब उनके पिता 90 वर्ष के थे और उनके सबसे करीबी दोस्त जेम्स ए बेकर उनके लिए चोरी से अस्पताल में वोदका लेकर आते तो वह कितने खुश हो जाते थे। बुश के यह कहते ही हॉल में बैठा हर व्यक्ति हंसने लगा।