1 सप्ताह, 170 मौतें, 200 जख्मी, आतंक के साये में हाल-ए-पाकिस्तान चुनाव
इस्लामाबाद। पाकिस्तान में चुनाव के दिन जैसे-जैसे नजदीक आ रहे हैं, आतंकवादी घटनाओं और हिंसा की संख्या बढ़ती जा रही है। पाकिस्तान में शुक्रवार (13 जुलाई) को दो अलग-अलग जगह हुए धमाकों में 150 से ज्यादा लोगों की जान गई और सैकड़ों लोग बुरी तरह से जख्मी हुए हैं। पिछले एक सप्ताह में यह तीसरी बार है, जब पाकिस्तान में चुनावी रैली को आतंकवादियों ने निशाना बनाया है। अब तक 170 ज्यादा लोगों की मौत हुई हैं और 200 से ज्यादा घायल हुए हैं। पाकिस्तान में चुनाव के अब सिर्फ 10 दिन बचे हैं और सभी राजनीतिक पार्टियां रैलियां कर रही है, जिसमें हजारों की संख्या में भीड़ जमा हो रही है। लेकिन, इन दो आतंकी घटनाओं ने पाकिस्तान की अवाम को जबरदस्त में खौफ में डाल दिया है।
आतंकी हमले बढ़ने की आशंका
पाकिस्तान चुनावी माहौल को देखते हुए आने वाले दिनों में और भी हिंसा और आतंकी हमले होने की सभावनाएं जताई जा रही है। पाकिस्तान में अभी तक तीन बड़े आतंकी हमले हो चुके हैं, जिसमें तीनों बार पार्टी उम्मीदवारों को निशाना बनाया गया है और दुर्भाग्य से उनकी मौत भी हुई है। इस्लामिक स्टेट (आईएस) ने शुक्रवार को बलूचिस्तान अवामी पार्टी पर अटैक 130 लोगों को मौत के घाट उतार दिया, जिसमें पार्टी उम्मीदवार सिराज रायसानी की भी मौत हो गई।
3,71,000 सुरक्षा बल तैनात करने का दावा
आतंकी हमलों को देखते हुए पाकिस्तान की अवाम अब चुनावी रैलियों में भी जाने से डर रही है। लचर सुरक्षा व्यवस्था की वजह से पाकिस्तान का आम आदमी आतंकी हमलों का शिकार हो रहा है। चुनावी रैलियों के अलावा लोग भीड़-भाड़ वाले इलाकों में भी जाने से भी खौफ खा रहे हैं। वहीं, पाकिस्तानी अवाम ने चुनाव तक सुरक्षा बढ़ाने के लिए सेना से भी दरख्वास्त की है। उधर सेना ने कहा है कि उन्होंने चुनाव को देखते हुए 3,71,000 सुरक्षा बल तैनात किए हैं, जो कि 2013 चुनाव से तीन गुना ज्यादा है।
नवाज की गिरफ्तारी के बाद माहौल बिगड़ने के आसार
पाकिस्तान की नेशनल काउंटर टेररिज्म अथॉरिटी ने गृह मंत्रालय को पहले ही कह दिया है कि चुनाव में कई बड़े नेता आतंकवादियों के निशाने पर है। आतंकी हमलों के अलावा पाकिस्तान में चुनावी हिंसा की चेतावनी दी गई है। वहीं, नवाज शरीफ की गिरफ्तारी के बाद पाकिस्तान में चुनावी हिंसा बढ़ने की आशंका जताई जा रही है। इसी को देखते हुए पीएमएल-एन पार्टी के कई नेताओं को हिरासत में ले लिया गया है।