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भारत की मदद के नाम पर पाकिस्तानी NGO ने करोड़ों जमा कर आतंकियों तक पैसे पहुंचाए- US में खुलासा

अमेरिका की डिसइन्फो लैब ने कोविड-19 स्कैम 2021' का खुलासा किया है। जिसमें कहा गया है कि मानवता के इतिहास में पाकिस्तानी संगठन ने सबसे बुरा स्कैम किया है।

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वॉशिंगटन, जून 15: पाकिस्तानी चाहें कहीं भी क्यों ना रहें, वो हमेशा भारत के खिलाफ साजिश करते ही रहेंगे। अमेरिका स्थित पाकिस्तान से जुड़े चैरिटी संगठनों ने कोविड-19 संकट में भारत की मदद करने के नाम पर अलग-अलग संगठनों और लोगों से चंदा लेकर लाखों डॉलर जमा कर लिए और फिर उन पैसों को भारत भेजने के बजाए आतंकी संगठनों को दान में दे दिया। खुलासा हुआ है कि अमेरिका में स्थिति पाकिस्तानी चैरिटी संगठनों ने भारत में आतंकी हमला करवाने, दंगा भड़काने के नाम पर भारत के मदद के नाम पर मिले पैसों का इस्तेमाल किया है।

पाकिस्तानी संस्था की बड़ी साजिश

पाकिस्तानी संस्था की बड़ी साजिश

एक रिपोर्ट के जरिए अमेरिका की डिसइन्फो लैब ने कोविड-19 स्कैम 2021' का खुलासा किया है। जिसमें कहा गया है कि मानवता के इतिहास में पाकिस्तानी संगठन ने सबसे बुरा स्कैम किया है। संस्था ने 'हेल्पिंग इंडिया' के नाम पर लाखों डॉलर चंदा वसूला, भारत में ऑक्सीजन संकट के नाम पर लोगों से चंदा लिया गया और फिर लाखों डॉलर चुरा लिए गये। डिसइन्फो लैब की रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिका स्थिति पाकिस्तानी संस्था ने 'हेल्पिंग इंडिया ब्रेथ' के नाम पर लोगों से झूठ बोला और फिर चंदे के पासों को आतंकियों के हाथ में दे दिया। भारत जब कोरोना वायरस की दूसरी लहर से जूझ रहा था, उस वक्त भारत की मदद के लिए दुनिया के कई देश आगे गये और कई संस्थाओं ने भारत की मदद की। लेकिन, पाकिस्तानी संस्था ने मानवता के इतिहास में सबसे गिरा हुआ काम किया है।

कई पाकिस्तानी संस्थाएं शामिल

कई पाकिस्तानी संस्थाएं शामिल

द डिसइन्फो लैब ने खुलासा किया है कि पाकिस्तान की कई चैरिटी संस्थाओं ने भारत की मदद के नाम पर चंदे में लाखों डॉलर इकट्ठा किए। इसके लिए इन चैरिटी संस्थाओं ने अलग अलग देशों को की जाने वाली भारतीय मदद का हवाला दिया, लेकिन इन पाकिस्तानी संस्थाओं का कट्टरपंथी इस्लामिक संगठनों के साथ साथ कई आतंकी संगठनों से करीबी रिश्ता है और ये संस्थाएं पाकिस्तानी आर्मी के इशारे पर काम करती हैं और भारत के खिलाफ साजिशें रचते रहते हैं। एक ऐसे ही अमेरिका स्थिति पाकिस्तानी संस्था के नाम का खुलासा हुआ है, नाम है-IMANA इस्लामिक मेडिकल एसोसिएशन ऑफ नॉर्थ अमेरिका।

करोड़ों की फंड चोरी

द डिसइन्फो लैब की रिपोर्ट में कहा गया है, "संकट में भारत की मदद के लिए दुनिया भर के अच्छे लोगों ने करोड़ों रुपये दान में दिए हैं। लोगों ने पाकिस्तानी संस्थाओं को करोड़ों रुपये दान के तौर पर दे दिए। लेकिन, पाकिस्तानी संस्थाओं ने दान में मिले पैसों की चोरी कर ली। रिपोर्ट में कहा गया है कि 'इन पाकिस्तानी संस्थाओं की कोई जवाबदेही नहीं है और इन लोगों ने करोड़ों रुपये की चोरी की है। लिहाजा, इन संस्थाओं की जवाबदेही तय होनी चाहिए। दुनिया में ऐसी संस्थाओं की जवाबदेही तय करने के लिए कोई तंत्र नहीं है।' इस्लामिक मेडिकल एसोसिएशन ऑफ नॉर्थ अमेरिका यानि IMANA एक इलिनोइस-आधारित चिकित्सा राहत संगठन है। जिसे औपचारिक तौर पर 1967 में इस्लामिक मेडिकल एसोसिएशन यानि IMA के तौर पर स्थापिक किया गया था। लेकिन, बाद में इसका नाम बदलकर आईएमएएनए कर दिया गया।

IMANA ने कैसे की करोड़ों की चोरी

द डिसइन्फो लैब की रिपोर्ट के मुताबिक इमाना के चेयरमैन डॉ. इस्माइल मेहर ने 'हेल्फ इंडिया ब्रेथ' के नाम से एक प्रोजेक्ट बनाया और दुनियाभर के लोगों से मदद की अपील की। इस संगठन ने 27 अप्रैल 2021 को #HelpIndiaBreathe नाम का एक इंस्टाग्राम कैम्पेन चलाया और शुरूआती चंदे का लक्ष्य 1.8 करोड़ रखा। यहां पर ध्यान देने वाली बात ये है कि इस संगठन का भारत में एक भी ब्रांच नहीं है, ना ही कोई ऑफिस है और ना ही इस संगठन के एक भी कार्यकर्ता भारत में मौजूद हैं। लेकिन, इस संगठन ने भारत की मदद के नाम पर काफी आक्रामक तरीके से दुनियाभर के लोगों से अपील कर पैसे वसूले।

भारत के नाम पर मिले पैसे

डिसइन्फो लैब की रिपोर्ट के अनुसार, इमाना ने भारत की मदद करने के नाम पर काफी कम समय में ही काफी ज्यादा पैसा इकट्ठा कर लिया। जब इस संगठन को लगने लगा कि भारत के नाम पर इसे पैसे मिल रहे हैं तो इसने पैसे इकट्ठे करने का लक्ष्य बढ़ा दिया। डिसइन्फो लैब की रिपोर्ट के मुताबिक, इमाना संस्था को भारत की मदद के नाम पर एक लाख डॉलर प्रति घंटे की मदद मिल रही थी। और रिपोर्ट के मुताबिक इस संस्था ने भारत की मदद करने के नाम पर दुनियाभर से 30 करोड़ से 158 करोड़ रुपये वसूल लिए। रिपोर्ट के मुताबिक इमाना संस्था पारदर्शिता के एक भी नियमों का पालन नहीं करती है, और इस संस्था ने वास्तविक तौर पर कितने रुपये जमा किए, इसका कोई पता नहीं लगाया जा सकता है।

इमाना का बार बार बदलता बयान

IMANA के चेयरमैन डॉ इस्माइल मेहर ने कई संदिग्ध दावे किए। उन्होंने 7 मई को आठ लाख अमेरिकी डालर के चिकित्सा उपकरण खरीद कर भारत भेजने का दावा किया। जिसमें एक लाख नेजल कनल्स, 40 हजार नन-ब्रेथर मास्क, 450 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर शामिल थे। लेकिन, ये कभी भारत पहुंचा ही नहीं। इसके साथ ही इस संगठन ने दूसरा दावा किया कि उसने दिल्ली में ऑक्सीजन भेजने के लिए उसन एयर इंडिया के साथ समझौता किया है। वहीं, एक और दावे में इस संगठन ने कहा कि भारत की मदद करने के लिए उसने जमीनी स्तर पर लोगों का संगठन तैयार किया है, जो लगातार भारत में लोगों की मदद कर रहा है। इस संस्था ने दावा किया कि उसने जो भारत में संगठन बनाया है, उसमें हिंदू और सिख कार्यकर्ता शामिल हुए हैं। इसके साथ ही इस संगठन ने डीआरडीओ और भारतीय कृषि मंत्रालय के साथ भी करार होने का झूठा दावा किया था। इस संस्था ने जो भी दावे किए, एक भी दावा जांच के दौरान सही नहीं पाया गया। रिपोर्ट के मुताबिक दावा किया गया है कि इमाना के साथ ही जिन पाकिस्तानी संस्थाओं ने भी भारत के नाम पर चंदा लिया है, उसे आतंकी संगठनों तक पहुंचा दिया गया है।

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English summary
US-based Pakistani NGO deposited crores of rupees in the name of helping India during the time of Covid-19 crisis and handed over those money to anti-India forces.
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