म्यांमार में सेना की बर्बर कार्रवाई, 114 प्रदर्शनकारियों की बिछा दी लाशें, अबतक की सबसे बड़ी हिंसा
म्यांमार में शनिवार को सेना ने पूरे देश में 114 प्रदर्शनकारियों को गोली मार दी। जिसकी निंदा यूएन ने की है और म्यांमार की स्थिति पर अंतर्राष्ट्रीय समुदाय से दखल की मांग की है।
नाएप्यीडॉ: म्यांमार में पिछले दो महीने से सेना का शासन है और सेना बेकसूर म्यांमार की जनता को निशाना बना रही है। शनिवार को म्यांमार में सेना ने 114 से ज्यादा आम नागरिकों की हत्या कर दी। लेकिन, उसके बाद भी म्यांमार में सेना के खिलाफ लगातार प्रदर्शन जारी है। समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक शनिवार को म्यांमार में सेना की गोली से 114 प्रदर्शनकारी मारे गये हैं। रिपोर्ट के मुताबिक म्यांमार की सेना जुंटा लगातार प्रदर्शनकारियों को खामोश रखने की कोशिश कर रही है लेकिन प्रदर्शनकारी शांत होने का नाम नहीं ले रहे हैं और म्यांमार की सेना जुंटा लगातार प्रदर्शनकारियों को गोली मार रही है।
114 लोगों की हत्या
अमेरिकी न्यूज पेपर सीएनएन ने म्यांमार की मीडिया म्यांमार नॉउ के हवाले से लिखा है कि म्यांमार में सेना ने शनिवार को 114 लोगों की हत्या कर दी। रिपोर्ट के मुताबिक म्यांमार के 44 शहरों और नगरों में सेना ने प्रदर्शनकारियों को टार्गेट कर गोलियां चलाई और पिछले 2 महीने से लगातार प्रदर्शनकारियों को टॉर्चर किया जा रहा है। रिपोर्ट के मुताबिक. म्यांमार की सेना जुंटा ने मिक्तीला में एक आवासीय परिसर में गोलीबारी शुरू कर दी जिसमें 13 साल का एक लड़का मारा गया। वहीं, म्यांमार लोकल मीडिया ने कहा है कि प्रदर्शनकारियों के सिर में और पीछे से गोली मारने के आदेश दिए गये हैं। आपको बता दें कि म्यांमार में पिछले महीने 1 फरवरी को म्यांमार की सेना ने चुनी सरकार को सत्ता से बेदखल कर दिया था और उसके बाद से ही पूरे देश में सेना के खिलाफ प्रदर्शन किए जा रहे हैं।
1 फरवरी से जारी है हिंसा
1 फरवरी को म्यांमार की सेना, जिसे वहां जुंटा कहा जाता है, उसने म्यांमार की चुनी हुई सरकार को सत्ता से बेदखल कर मिलिट्री शासन की घोषणा कर दी थी। म्यांमार में एक साल के लिए आपातकाल की घोषणा करते हुए सैन्य शासन लगाया गया है। इसके साथ ही म्यांमार की स्टेट काउंसलर और सबसे बड़ी नेता आंग सान सू की और म्यांमार के राष्ट्रपति को सेना ने नजरबंद कर रखा है। चुनी सरकार को सत्ता से बेदखल करने के लिए खिलाफ म्यांमार में सेना के खिलाफ लगातार प्रदर्शन जारी है, जिसे कुचलने के लिए म्यांमार की मिलिट्री गोली तक चलाने से पीछे नहीं हट रही है।
म्यांमार में सेना की हिंसक कार्रवाई की निंदा यूनाइटेड नेशंस ने की है। यूएन महासचिव एंटोनियो गुटेरस ने कहा है कि 'म्यांमार में सेना लगातार आम जनता के विद्रोह को कुचलने के लिए बंदूक का इस्तेमाल कर रही है, जिसकी वजह से म्यांमार में शनिवार को सबसे ज्यादा आम लोग मारे गये हैं, म्यांमार सेना की ये हिंसक कार्रवाई अस्वीकार्य है। यूएन म्यांमार में एकीकृत और कड़ी अंतर्राष्ट्रीय प्रतिक्रिया की मांग करता है। म्यांमार की क्रिटिकल स्थिति के लिए फौरन समाधान की जरूरत है'
म्यांमार सेना की निंदा
म्यांमार में सेना द्वारा की गई हिंसक कार्रवाई की पूरी दुनिया में निंदा हो रही है लेकिन म्यांमार की सेना पर कोई फर्क नहीं पड़ रहा है। यूएन ने जुंटा की निंदा करते हुए कड़े शब्दों में हिसक कार्रवाई फौरन रोकने को कहा है। म्यांमार स्थिति यूनाइटेड नेशंस ऑफिस ने म्यांमार की घटना पर कहा है कि 'म्यांमार की स्थिति काफी खतरनाक है और म्यांमार की सेना बेवजह पूरे देश में दर्जनों लोगों की गोली मारकर हत्या कर रही है, और शनिवार को सेना ने दर्जनों और लोगों की हत्या की है, जो 1 फरवरी के बाद सबसे ज्यादा है। सेना द्वारा की गई हिंसा पूरी तरह अस्वीकार्य है और ये फौरन बंद होना चाहिए, साथ ही इसके लिए जो भी जिम्मेदार हैं, उनके खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए'