मां चाहती थीं अस्थियां भारत में की जाएं प्रवाहित, अंतिम इच्छा को पूरा करने भारत आई थीं कमला हैरिस
वॉशिंगटन। जो बाइडेन अब अमेरिका के 46वें राष्ट्रपति हैं और भारतीय मूल की कमला हैरिस देश की पहली महिला उप-राष्ट्रपति हैं। कमला की इस उपलब्धि पर भारत में एक अलग उत्साह देखा जा सकता है। तमिलनाडु की राजधानी चेन्नई में उनके रिश्तेदारों में भी खुशी की लहर देखी जा सकती है। कमला पिछले वर्ष जब राष्ट्रपति की उम्मीदवारी के लिए प्रयास कर रही थीं तो उस समय वह भारत आई थीं। कमला अपनी मां श्यामला की एक अंतिम इच्छा को पूरा करने के लिए बहन माया मून के साथ चेन्नई पहुंची थीं।
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साल 2009 में हुआ मां का निधन
कमला की मौसी डॉक्टर सरला गोपालन जो कि श्यामला की छोटी बहन हैं, उन्होंने बताया है कि पिछले वर्ष अमेरिका की नई उप-राष्ट्रपति भारत आई थीं। जिस समय कमला का नामांकन फाइनल हुआ था, उस समय उन्होंने अपनी मां, चिट्टी और सभी आंटियों का जिक्र किया था। कमला की मां डॉक्टर श्यामला का निधन साल 2009 में हुआ था। उनकी मौसी कहती हैं कि अगर आज मां जिंदा होती तो अपनी बेटी को इस ऊंचाई पर देखकर उसकी आंखों से खुशी के आंसू बहने लगते। कमला की मौसी सरला ने बताया कि बहन श्यामला चाहती थीं कि मृत्यु के बाद उनकी अस्थियां चेन्नई में प्रवाहित की जाएं। अपनी मां की इसी इच्छा को पूरा करने के लिए बहन माया मून के साथ कमला चेन्नई आई थीं। मौसी सरला के मुताबिक कमला अपनी मां से बहुत प्रभावित हैं।
1950 में श्यामला गई थीं अमेरिका
उनका कहना है कि आज अगर उनके परिवार में बहन श्यामला और कमला जैसी मजबूत इरादों वाली महिलाएं मौजूद हैं, तो उसका श्रेय उनके पिता पीवी गोपालन को जाता है। कमला की मां श्यामला ने सन् 1950 में अमेरिका के पढ़ाई के लिए स्कॉलरशिप हासिल की थी। स्कॉलरशिप के तुरंत बाद पिता ने श्यामला को अमेरिका जाकर पढ़ाई करने के लिए प्रोत्साहित किया। मौसी सरला को याद है कि यह वह दौर था जब भारत में कोई भी परिवार अपनी 18 साल की बेटी को अकेले विदेश में जाकर पढ़ाई पूरी करने की अनुमति देने में हिचकता था। पिता ने बेटी को मेडिसिन की पढ़ाई के प्रेरित किया और वह हमेशा मानते थे कि बेटियों को आर्थिक रूप से आजाद होने के लिए बेहतर शिक्षा हासिल करना बहुत जरूरी है।
अक्सर मां के साथ भारत आती थीं कमला
कमला जब छोटी थीं तो अक्सर मां के साथ भारत आती थीं। उनकी मां श्यामला ने दिल्ली यूनिवर्सिटी से पढ़ाई की थी। मां को अरेंज मैरिज के कैलिफोर्निया से पढ़ाई पूरी करके भारत लौटना था लेकिन वह अमेरिका में सिविल राइट्स मूवमेंट की आवाज बन गईं। इसी दौरान उनकी मुलाकात जमैका के डोनाल्ड हैरिस से हुई जो बार्कले यूनिवर्सिटी से इकोनॉमिक्स की पढ़ाई करने आए थे। दोनों ने शादी कर ली और फिर कमला अमेरिका में ही रहीं। उनकी मां एक पुराने ख्यालों वाले ब्राह्मण परिवार से आती थीं। इसलिए मां ने जिस तरह से शादी का फैसला किया उसे आज भी लोग साहसिक फैसला करार देते हैं। हैरिस ओकलैंड में पली-बढ़ी हैं अैर उन्होंने हॉवर्ड यूनिवर्सिटी से अंडर-ग्रेजुएट की डिग्री ली है। इसके बाद कैलिफोर्निया यूनिवर्सिटी से उन्होंने लॉ में ग्रेजुएशन किया।