ऑस्ट्रेलिया के पीएम स्कॉट मॉरीसन ने बाल यौन शोषण के पीड़ितों से माफी मांगकर सबको चौंकाया
सिडनी। ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री स्कॉट मॉरीसन ने सोमवार को असाधारण तौर पर बाल यौन शोषण के पीड़ितों से माफी मांगी है। साल 2008 में ऑस्ट्रेलिया में बाल यौन शोषण का सबसे बड़ा मामला सामने आया था और यह दूसरा मौका है जब पीएम ने इस तरह से माफी मांगी है। मॉरीसन के माफीनामे ने पीड़ितों और उनके माता-पिता की आंखें नम कर दी थी। पांच वर्ष तक चली जांच में 8,000 से ज्यादा ऐसे केस सामने आए थे जिनमें बच्चों का यौन शोषण किया गया था और ज्यादातर बच्चों का शोषण चर्च या फिर ऐसे प्रांतीय संस्थानों में हुआ था जिन पर बच्चों की सुरक्षा की जिम्मेदारी थी।
'वी ऑर सॉरी'
स्कॉट मॉरीसन ने कैनबरा में सांसदों से कहा, 'आज एक देश के तौर पर हम अपनी असफलताओं को स्वीकारते हैं और इंसाफ की उम्मीद करते हैं।' मॉरीसन ने आगे कहा, 'हम सॉरी कहते हैं, उन सभी बच्चों से जिन्हें हमने निराश किया, सॉरी। उन सभी माता-पिता से सॉरी कहते हैं जिनके विश्वास को तोड़ा गया।' इससे पहले साल 2008 में तत्कालीन ऑस्ट्रेलियाई पीएम केविन रूड ने ऑस्ट्रेलिया के स्टोलन जनरेशंस ऑफ इंडीजीनियस संस्था के सदस्यों से माफी मांगी थी जिन्हें उनके परिवार और उनके समुदायों से उस समय अलग कर दिया गया था जब वह बच्चे थे।
800 पीड़ितों मांगी है माफी
मॉरीसन ने अपने भाषण में करीब 800 पीड़ितों से माफी मांगी। इन पीड़ितों में कुछ मॉरीसन का माफीनाम सुनकर रो रहे थे। इनकी तस्वीरों को टेलीविजन पर ब्रॉडकास्ट किया गया था। एक पीड़ित ग्रैमी की पहचान उजागर की गई और इन्होंने कहा, 'मैंने चारों तरफ देखा और फिर मुझे लगा कि यहां पर देश में मजबूत लोगों के लिए कोई भी जगह नहीं है। मुझे एक पीड़ित होने पर और सभी पीड़ितों पर गर्व है।' मॉरीसन ने इंसाफ दिलाने का प्रण किया है लेकिन कुछ पीड़ितों का कहना है कि सरकार को जितना करना चाहिए था, उसने उतना नहीं किया। ऑस्ट्रेलिया की ओर से एक रि-ड्रेसेल स्कीम शुरू की जाएगी जिसमें इस वर्ष प्रत्येक पीड़ित को 106,000 अमेरिकी डॉलर अदा किए जाएंगे।