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पाकिस्तान: आसिया बीबी के पक्ष में फिर आया फैसला, SC में पुनर्विचार याचिका खारिज

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इस्लामाबाद। पाकिस्तान सुप्रीम कोर्ट ने ईशनिंदा का आरोप झेल रही आसिया बीबी के मामले में दायर पुनर्विचार याचिका को मंगलवार को खारिज करते हुए इस्लामिक कट्टरपंथियों को तगड़ा झटका दिया है। पिछले साल अक्टूबर में पाकिस्तान के सुप्रीम कोर्ट आसिया बीबी को ईशनिंदा आरोप के मामले में बरी कर दिया था, जिसके बाद पुनर्विचार याचिका दायर की गई थी। पाकिस्तान में ईशनिंदा कानून का उल्लंघन करने पर मौत की सजा का प्रावधान है।

सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसला रखा बरकरार

सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसला रखा बरकरार

आसिया बीबी के खिलाफ पिछले साल 1 नवंबर को मौलवी कारी मोहम्मद सलाम ने सुप्रीम कोर्ट को अपने फैसले पर फिर से विचार करने के लिए याचिका दायर की थी। जिसके बाद सु्प्रीम कोर्ट में मंगलवार को चीफ जस्टिस आसिफ सईद खोसा के नेतृत्व में तीन सदस्यीय बैंच ने मेरिट के आधार पर इस याचिका को खारिज कर दिया। सुप्रीम कोर्ट ने आसिया बीबी के पक्ष में फैसला सुनाते हुए याचिकाकर्ता के वकील से कहा कि पुराने फैसले में आप भी एक गलती दिखाने में नाकाम रहे हैं, इसलिए हम इस पर फिर से विचार नहीं कर सकते हैं।

सुरक्षा के कड़े इंतजाम

सुरक्षा के कड़े इंतजाम

पाकिस्तान सुप्रीम कोर्ट ने लगातार दूसरी बार आसिया बीबी के पक्ष में फैसला सुनाया है। इस फैसले के दौरान सुप्रीम कोर्ट और सुनवाई कर रहे जजों के घरों के बाहर भारी सुरक्षाबल को तैनात किया गया। पिछली बार अक्टूबर में जब सु्प्रीम कोर्ट ने आसिया बीबी के मामले में सुनावई की थी, उस दौरान पाकिस्तान के कई हिस्सों में हिंसा देखने को मिली थी। उस दौरान पाकिस्तान में कट्टरपंथी धार्मिक संगठन तहरीक-ए-लब्बैक के लोगों ने कई जगहों पर हिंसा को अंजाम दिया था।

पिछले साल आसिया के पक्ष में आया था फैसला

पिछले साल आसिया के पक्ष में आया था फैसला

अक्टूबर 2018 में लाहौर हाईकोर्ट के फैसले को पलटते हुए सुप्रीम कोर्ट ने आसिया बीबी को जेल से तुरंत बरी करने का आदेश दिया था। कोर्ट ने आदेश देते हुए कहा था कि अगर आसिया के खिलाफ अन्य कोई मामला दर्ज नहीं है तो उसे तुरंत जेल से रिहा किया जाए। ईशनिंदा मामले में ईसाई महिला पिछले कई सालों से जेल में कैद थी और अपनी मौत की सजा के खिलाफ कोर्ट का दरवाजा खटखटा रही थी। 51 वर्षीय आसिया बीबी को 2010 में मौत की सजा सुनाई गई थी।

क्या था मामला?

क्या था मामला?

आसिया बीबी के ऊपर एक मुस्लिम महिला के पानी को लेकर लड़ाई के दौरान पैगंबर मोहम्मद के बारे आपत्तिजनक टिप्पणी करने का आरोप है। हालांकि, आसिया बीबी लगातार इन आरोपों का पुरजोर खंडन करती रही हैं। आसिया बीबी को ईशनिंदा कानून का उल्लंघन करने के आरोप में 2010 में मौत की सजा सुनाई थी। आसिया बीबी तीन बच्चों की मां हैं। पाकिस्तान में सुरक्षा को देखते हुए आसिया बीबी को कनाडा ने पहले से ही शरण देने का ऑफर दे दिया है।

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English summary
Asia Bibi is free at last, Pakistan SC dismissed the review petition
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