पोते एनवी सुभाष ने किया सवाल- पीवी नरसिम्हा राव के योगदान की तारीफ करने में कांग्रेस को 16 साल कैसे लग गए
पोते एनवी सुभाष ने किया सवाल- पीवी नरसिम्हा राव के योगदान की तारीफ करने में कांग्रेस को 16 साल कैसे लग गए
नई दिल्ली। पूर्व प्रधानमंत्री पी वी नरसिम्हा राव के जन्म के 100 वर्ष पूरे होने पर दिल्ली में शुक्रवार को एक कार्यक्रम आयोजित किया गया। जिसमें कांग्रेस पार्टी की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी ने पूर्व पीएम नरसिम्हा राव की तारीफ की। जिसके बाद नरसिम्हा केऔर तेलंगाना भाजपा नेता एनवी सुभाष कांग्रेस के शीर्ष नेतृत्व पर कटाक्ष करते हुए सवाल उठाया कि कांग्रेस को नरसिम्हा राव के योगदान की सराहना करने में 16 साल कैसे लग गए? उन्होंने भी ये भी कहा कि सोनिया और राहुल पीवी नरसिम्हा से जुड़े किसी कार्यक्रम में कभी शामिल नहीं हुए।
एनवी सुभाष ने कहा कि पीवी नरसिम्हा राव के योगदान की तारीफ करने में कांग्रेस को 16 साल कैसे लग गए। इतने सालों में कांग्रेस नेता सोनिया गांधी और राहुल गांधी नरसिम्हा राव की जयंती और पुण्यतिथि पर आयोजित किसी भी कार्यक्रम में सहभागिता नहीं की। इससे पहले पीए नरेन्द्र मोदी भी गांधी परिवार द्वारा पूर्व पीएम नरसिम्हा राव की उपेक्षा के लिए सोनिया-राहुल पर हमला करते आए हैं। 2019 के लोकसभा चुनाव में पीएम मोदी ने कहा था, मैं कांग्रेस को चुनौती देता हूं कि यदि उन्होंने 2004 से 2014 के बीच कभी भी सार्वजनिक मंचों पर पीवी नरसिम्हा राव के अच्छे कामों की तारीफ की हो तो उसका प्रमाण दें।
मालूम हो कि नरसिम्हा राव का निधन 23 दिसंबर 2004 को हुआ था। 28 जून 1921 को जन्में नरसिम्हाव राव का इस वर्ष कांग्रेस जन्मशती समारोह मना रही है। पीवी नरसिम्हा राव 21 जून 1991 से 16 मई 1996 तक भारत के प्रधानमंत्री रहे. नरसिम्हा राव के दौर में ही भारत में आर्थिक उदारवाद के रास्ते खुले। हमेशा से गांधी परिवार से नरसिम्हा राव के रिश्ते अच्छे नहीं रहे हैं। राजीव गांधी के आकस्मिक निधन के बाद नरसिम्हा राव प्रधानमंत्री बने थे।
जानिए
अचानक
से
क्यों
बदली
कांग्रेस?
दरअसल
राव
का
जन्म
आंध्र
प्रदेश
(अब
तेलंगाना
का
हिस्सा)
में
हुआ
था।
वहां
के
लोगों
के
लिए
उन्होंने
अपना
पूरा
जीवन
लगा
दिया।
तेलंगाना
और
आंध्र
में
उनकी
लंबी
राजनीतिक
विरासत
है।
इसके
अलावा
दक्षिण
भारत
के
अन्य
राज्यों
में
भी
उनकी
अच्छी
पकड़
थी।
तेलंगाना
के
सीएम
केसीआर
पूर्व
पीएम
राव
के
जन्म
शताब्दी
वर्ष
पर
विशेष
कार्यक्रम
आयोजित
कर
रहे
हैं।
तेलंगाना
पीसीसी
भी
राव
को
लेकर
कई
कार्यक्रम
आयोजित
करना
चाहती
है।
कांग्रेस
की
इन
राज्यों
में
पकड़
थोड़ी
कमजोर
हो
गई
है।
जिस
वजह
से
हाईकमान
ने
पूर्व
पीएम
राव
को
लेकर
कार्यक्रम
आयोजित
करने
का
फैसला
लिया
है।
वहीं
राजनीतिक
विशेषज्ञ
दक्षिण
भारत
में
उनके
राजनीतिक
विरासत
की
लड़ाई
देख
रहे
हैं।
जिसके
लिए
अब
कांग्रेस
भी
मैदान
में
उतर
गई
है।
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