बिहार न्यूज़ के लिए
नोटिफिकेशन ऑन करें  
Oneindia App Download

जब शहीद का बेटा बोला, पापा के लिए स्टेज सजा रहा हूँ

Google Oneindia News

पटना। छत्तीसगढ़ दंतेवाड़ा में रविवार को नक्सली हमले में शहीद सीआरपीएफ के जवान राजेश कुमार सीमरिया धाम के पावन तट पर सोमवार को पंचतत्व में विलीन हो गए। उनके पांच वर्षीय पुत्र रिषभ कुमार ने उन्हें मुखाग्नि दी। शहीद बिहार के बेगूसराय जिले के बीहट के सुन्दरवन टोला निवासी नवलकिशोर सिंह के पुत्र थे। इससे पूर्व हवाई मार्ग से उनका शव पटना लाया गया। जहां राज्य सरकार की ओर से जिले के प्रभारी मंत्री विजय सिन्हा व समाज कल्याण मंत्री मंजू वर्मा ने श्रध्दांजलि दी। मालूम हो की 20 मई दिन रविवार को छत्तीसगढ़ आर्म्‍ड फोर्स और सीआरपीए के जवानों पर नकसलियों ने हमला किया। बारूदी सुरंग बिछकर नक्सलियों ने गश्त कर रहे जवानों की गाड़ी को ही उड़ा दिया। जिसमें बीहट के लाल राजेश कुमार शहीद हो गए।

राजकीय सम्‍मान के साथ अंतिम संस्‍कार, उमड़ा जन सैलाब

राजकीय सम्‍मान के साथ अंतिम संस्‍कार, उमड़ा जन सैलाब

शहीद राजेश कुमार का पार्थिव शरीर जैसे ही राजेंद्र पुल पर पहुँचा हजारों की संख्या में वहां इन्तजार कर रहे नौजवानों ने भारत माता की जय और शहीद राजेश अमर रहे का गगनभेदी नारा लगाने लगे। जिले के डीएम राहुल कुमार, एसपी आदित्य कुमार सहित अन्य अधिकारी और जन प्रतिनिधि भी हांथों में तिरंगा लिए जयघोष कर रहे थे। शहीद के गंवा बेहत पहुँचने के क्रम में रास्ते भर स्कूली बच्चे, शिक्षक और ग्रामीण शव यात्रा के स्वागत में सड़क के दोनों ओर खड़े रहे। चौक चौराओं पर फूलों से सजे शव वाहन को रोककर लोगों ने शहीद का अंतिम दर्शन किया और उन्हें पुष्प अर्पित किया। पार्थिव शःरीर जैसे ही बीहट पहुंचा शहीद के अंतिम दर्शन के लिए लोगों की भीड़ उमड़ पड़ी।

हर तरफ चीत्कार, आँखों में आंसू

हर तरफ चीत्कार, आँखों में आंसू

शहीद राजेश का पार्थिव शरीर जैसे जैसे अपने पैत्रिक घर की और बढ़ रहा था लोगों का काफिला भी लंबा होता जा रहा था। हर कोई नम आँखों से शव यात्रा में शरीक हो रहा था। शव जैसे ही पैत्रिक आवास पर पहुंचा चारों तरफ चीत्कार मच गया। शहीद की पत्नी स्वीटी, माँ और चार बहनें दहाड़ मारकर रोने लगीं। महिलाओं के रोने की आवाज सुन हर किसी का कलेजा फट रहा था।

पापा के लिए स्टेज सजा रहा हूँ

पापा के लिए स्टेज सजा रहा हूँ

घर के पास ही शहीद को श्रधांजली देने के लिए बड़ा सा स्टेज बनाया गया था। स्टेज पर शहीद का एक बड़ा सा तैलचित्र लगाया गया और उसे फूलों से सजाया गया। इसी बीच दो छोटे छोटे बच्चे स्टेज पर चढ़ गये और तैलचित्र को फूलों से सजाने लगे। तभी भीड़ में से किसी ने दोनों बच्चों को स्टेज से उतर जाने को कहा। बच्चे ने तपाक से जवाब दिया- मैं कहीं नही जाऊंगा।पापा के लिए स्टेज सजा रहा हूँ। मेरे पापा जरूर आयेंगे। बच्चे के मुंह से यह सुनते ही हर कोई स्तब्ध हो गया। लोग रुआंसे हो गये।

<strong>ये भी पढे़ं- हॉस्टल में बच्चियों को भूत बनकर डराती थी वार्डन! सामने आई दरोगा से दोस्ती की कहानी </strong>ये भी पढे़ं- हॉस्टल में बच्चियों को भूत बनकर डराती थी वार्डन! सामने आई दरोगा से दोस्ती की कहानी

Comments
English summary
last ritual of martyr rajesh kumar in begusarai
देश-दुनिया की ताज़ा ख़बरों से अपडेट रहने के लिए Oneindia Hindi के फेसबुक पेज को लाइक करें
For Daily Alerts
तुरंत पाएं न्यूज अपडेट
Enable
x
Notification Settings X
Time Settings
Done
Clear Notification X
Do you want to clear all the notifications from your inbox?
Settings X
X