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आंध्र प्रदेश के ग्रामीणों ने क्यों जताई ओडिशा में शामिल होने की इच्छा? जानें

आंध्र प्रदेश और ओडिशा में कोरापुट जिले के कुछ सीमावर्ती गांवों पर अधिकार को लेकर लंबे समय से चल रहे विवाद के बीच एक अप्रत्याशित मामला सामने आया है।

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हैदराबाद। आंध्र प्रदेश और ओडिशा में कोरापुट जिले के कुछ सीमावर्ती गांवों पर अधिकार को लेकर लंबे समय से चल रहे विवाद के बीच एक अप्रत्याशित मामला सामने आया है। आंध्र प्रदेश के सलुर ब्लॉक के लगभग 14 गांवों ने ओडिशा के साथ मिलने की इच्छा जताई है। ओडिशा-आंध्र प्रदेश सीमा विवाद कोरापुट में कोटिया ग्राम पंचायत से जुड़ा हुआ है, जहां आंध्र प्रदेश सीमावर्ती गांवों में से चार पर अपना अधिकार जताता रहा है।

Koraput

यह मामला फिलहाल सुप्रीम कोर्ट में लंबित है। इसी बीच खबर यह है कि आंध्र प्रदेश के सलुर ब्लॉक के लगभग 14 गांवों के लोगों ने ओडिशा के साथ रहने की इच्छा जताई है। इस खबर से आंध्र प्रदेश सरकार की परेशान बढ़ सकती है। दरअसल गांव के लोगों का आरोप है कि लाख मिन्नतें करने पर भी गांव के हालात बदतर बने हुए हैं इसलिए वे ओडिशा के साथ जाना चाहते हैं। आंध्र प्रदेश की कोडमा पंचायत में लोग आज भी एक पक्की सड़क के अभाव में कंधे पर डंडे में कपड़ा बांधकर मरीज को अस्पताल ले जाते हैं। गांव वाले कहते हैं कि वहीं दूसरी तरफ ओडिशा में आने वाले कोरापुट की नारायणपटना ब्लॉक की तलगूमुंडी पंचायत जो यहां से केवल कुछ की किलोमीटर दूर है वहां पर चमचमाती पक्की सड़कें हैं। इससे आंध्र प्रदेश के गांव वालों की दुर्दशा का अंदाजा लगाया जा सकता है।

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खबरों के अनुसार ग्रामीण वर्षों से अच्छी सड़क और आने जाने के लिए एक साधन की मांग कर रहे हैं, लेकिन वर्षों से उनकी उपेक्षा हो रही है, जिसकी वजह से ग्रामीणों में स्थानीय प्रशासन के लिए घृणा पैदा हो गई है। आंध्र प्रदेश की कोडमा पंचायत के कृष्णा सिदारप्पू कहते हैं, 'हम वर्षो से सड़क के लिए तरस रहे हैं। इसलिए हम ओडिशा के साथ जाना चाहते हैं।'

एक अन्य स्थानीय ने कहा, 'एंबुलेंस तो छोड़िए, अधिकारी गांव में इसलिए नहीं आ पाते क्योंकि यहां एक सड़क तक नहीं है।' मालूम हो कि कोडमा गांव के लोगों के लगातार आग्रह के बाद कोरापुट के पूर्व सांसद जयराम पांगी और पूर्व जिलाअधिकारी गदाधर परीदा ने कुछ दिन पहले गांव का दौरा किया था और सीएम और केंद्र से बात कर यहां सड़क बनवाने का भरोसा दिलाया था।

पूर्व सांसद पांगी ने कहा, 'अगर यहां सिर्फ 100 किलोमीटर की सड़क बन जाए तो यहां के सभी गांवों को जोड़ा जा सकता है।' वहीं पूर्व कलेक्टर गदाधर परीदा ने कहा कि यहां कोई सड़क नहीं है और फिर भी यहां के अधिकारी ओडिशा के गांवों पर नजर बनाए हुए हैं यह हास्यास्पद है।

गौरतलब है कि ओडिशा और आंध्र प्रदेश में कोरापुट जिले के सीमावर्ती गांवों पर अधिकार को लेकर लंबे समय से विवाद चल रहा है। यह मामला अभी सुप्रीम कोर्ट में लंबित है।

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English summary
Villagers of Andhra Pradesh expressed desire to merge with Odisha amidst Odisha-Andhra Pradesh border dispute
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