बंगाल: अर्पिता मुखर्जी का सनसनीखेज दावा- मेरे घरों से बरामद पैसा मेरा नहीं है, वह...
कोलकाता, 02 अगस्त: बंगाल सरकार के पूर्व मंत्री पार्थ चटर्जी की सहयोगी अर्पिता मुखर्जी ने मंगलवार को कहा, ईडी की रेड में जो पैसा मिला है। वह मेरा नहीं है, यह मेरी अनुपस्थिति में वहां रखा गया था। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने कोलकाता में उसके घरों से 50 करोड़ रुपये से अधिक नकद बरामद की थी। पश्चिम बंगाल के पूर्व मंत्री पार्थ चटर्जी और अर्पिता मुखर्जी को तीन अगस्त तक ईडी की हिरासत में भेज दिया गया है। पार्थ चटर्जी समूह 'सी' और 'डी' कर्मचारियों और कथित शिक्षक भर्ती घोटाले में शामिल हैं।
अर्पिता मुखर्जी ने मंगलवार को कहा कि कोलकाता में उनके घरों से बरामद किया गया पैसा उनका नहीं है और यह उनकी अनुपस्थिति में रखा गया था। अर्पिता मुखर्जी के अलावा, पार्थ चटर्जी के दामाद कल्याणमय भट्टाचार्य और उनके मामा कृष्ण चंद्र अधिकारी भी जांच के दायरे में आई कंपनियों के निदेशक पाए गए हैं और आने वाले समय में इनकी जांच भी हो सकती है।
जांच एजेंसी शिक्षक भर्ती घोटाले के सिलसिले में चार जगहों पर छापेमारी कर रही है। सूत्रों के मुताबिक अर्पिता से पूछताछ के दौरान दस्तावेज और फ्लैट के बारे में जानकारी हासिल करने के बाद ईडी फोर्ट ओएसिस हाउसिंग कॉम्प्लेक्स के एक फ्लैट पर छापेमारी कर रही है। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने 22 जुलाई को अर्पिता मुखर्जी के घर पर छापा मारा था और 21.90 करोड़ रुपये नकद बरामद किए थे।
जांच एजेंसी ने 56 लाख रुपये की विदेशी मुद्रा और 76 लाख रुपये का सोना भी बरामद किया था। कुछ दिनों बाद, ईडी ने अर्पिता मुखर्जी के दूसरे अपार्टमेंट से 28.90 करोड़ रुपये नकद, 5 किलो से अधिक सोना और कई दस्तावेज बरामद किए थे।
इससे पहले पार्थ चटर्जी ने संवाददाताओं से कहा कि बरामद किया गया धन उनका नहीं है और केवल समय ही बताएगा कि किसने उनके खिलाफ "साजिश" की है। उन्होंने आगे कहा कि वह इस तरह के सौदों में कभी शामिल नहीं हुए। शिक्षक भर्ती घोटाला मामले में ईडी द्वारा गिरफ्तारी के बाद तृणमूल कांग्रेस ने पार्थ चटर्जी को पार्टी से निलंबित कर दिया और उन्हें मंत्रालय से हटा दिया गया।