यूपी: सरकारी आदेश के बावजूद इस शहर में 12 बजे के बजाय सुबह 7 बजे से बेची जा रही है शराब
कानपुर। सूबे की योगी सरकार ने आबकारी नीतियों में बड़ा फेरबदल करते हुए शराब की दुकानों के खुलने के समय में बदलाव किया था। इसमे बदलाव करने की जरूरत इसलिए पड़ी क्योंकि लोग सुबह-सुबह दफ्तरों में शराब पीकर पहुंच जाते थे। इस बारे में कई शिकायतें जानने व सुनने को मिली थी। जिस कारण योगी की अध्यक्षता में हुई कैबनेट की बैठक में शराब की दुकानों के खुलने का समय 12 बजे निर्धारित किया गया। लेकिन आबकारी नीति का किस तरह से उल्लंघन किया जाता है, इसका ताजा मामला कानपुर में देखने को मिला है। यहां शराब की दुकान में सुबह सात बजे से ही लाइन लगवाकर शराब बेची जा रही है।
हमारे पास मौजूद वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि कैसे लोग शराब की दुकान के बाहर लाइन लगाकर अपनी बारी आने का इंतजार कर रहे हैं। यह लाइन शराब खरीदने के लिए लगी है। शराब पीने के शौकीन सुबह से ही बंद दुकान के बाहर लाइन लगा लेते हैं और शराब विक्रेता उनको शटर के नीचे से पैसा लेकर शराब उपलब्ध करवा रहे हैं। हैरानी तो इस बात की है कि यह शराब की दुकान आबकारी विभाग के दफ्तर और पुलिस थाना से महज पांच सौ मीटर की दूरी पर है। बावजूद इसके अधिकारियों की नजर इस शराब की दुकान पर नहीं पड़ती।
योगी सरकार ने शराब दुकानों के खुलने के समय में कटौती का फैसला किया था। पहले जहां शराब की दुकानें सुबह 11 बजे खुलती थीं, वे अब 12 बजे खुलेंगी और उनके बंद होने का समय 10 बजे निर्धारित किया गया था। नई व्यवस्था 1अप्रैल 2018 से लागू हुई थी। मगर आबकारी विभाग और पुलिस की मिलीभगत के चलते आदेशों को नजरअंदाज किया जा रहा है। कानपुर में ऐसे कई इलाके हैं, जहां पर सुबह 7 बजे से ही शराब की दुकानों के बाहर लाइन लग जाती है और बंद दुकान के नीचे से शराब बेचने का काम किया जाता है।
आबकारी नीतियों का उल्लंघन होने की बात जब आबकारी विभाग से कही गई तो पहले उन्होंने इससे इनकार किया। जब उन्हें इसके बारे में विस्तार से बताया गया तो उन्होंने कार्रवाई करने के बजाय इससे पल्ला झाड़ लिया। हालांकि जब कानपुर जिलाधिकारी को इस बात की सूचना मिली तो उन्होंने इस बात को गंभीरता से लेते हुए इस मामले में जांच की बात कही।
ये भी पढ़ें:- दिल्ली के मुंडका में लड़की के शरीर का आधा कटा हुआ शव मिला