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Pakistan Election: जानिए कैसे इस बार चुनावों में अपना असर डाल रही है मिलिट्री

पाकिस्‍तान की सेना की ओर से कहा गया है कि उसका 25 जुलाई को होने वाले चुनावों में किसी तरह का कोई सीधा हस्‍तक्षेप नहीं है। हालांकि पाकिस्‍तान की सेना की ओर से देशभर के पोलिंग बूथ्‍स पर चुनावों के दौरान 371,000 सैनिकों को तैनाता किया जाएगा।

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इस्‍लामाबाद। पाकिस्‍तान की सेना की ओर से कहा गया है कि उसका 25 जुलाई को होने वाले चुनावों में किसी तरह का कोई सीधा हस्‍तक्षेप नहीं है। हालांकि पाकिस्‍तान की सेना की ओर से देशभर के पोलिंग बूथ्‍स पर चुनावों के दौरान 371,000 सैनिकों को तैनाता किया जाएगा। पाकिस्‍तान के एक टॉप मिलिट्री ऑफिसर की ओर से इस बात की जानकारी दी गई है। 25 जुलाई को पाकिस्‍तान में नेशनल एसेंबली के अलावा प्रांतों में भी चुनाव होने हैं। हालांकि इतनी भारी संख्‍या पर सैनिकों की तैनाती पर पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की ओर से आपत्ति दर्ज कराई जा चुकी है।

सैनिकों की तैनाती में होंगे चुनाव

सैनिकों की तैनाती में होंगे चुनाव

इंटर सर्विसेज-पब्लिक रिलेशंस यानी आईएसपीआर के डायरेक्‍टर जनरल मेजर जनरल आसिफ गफूर ने आतंरिक मामलों पर बनी सीनेट की स्‍टैंडिंग कमेटी के स्‍पेशल सत्र के दौरान यह बात कही। गफूर ने कहा कि सेना पाकिस्‍तान के इलेक्‍शन कमीशन यानी ईसीपी की मदद के लिए हमेशा मौजूद रहेगी। उन्‍होंने बताया कि इसी वजह से देश भर के पोलिंग स्‍टेशंस पर 371,000 सैनिकों को तैनात किया गया है। उनहोंने कहा कि सेना बैलेट के लिए प्रिंटिंग प्रेस पर भी ड्यूटी पूरी करेगी। गफूर ने कहा कि ईसीपी का सैनिकों के लिए जो कोड ऑफ कंडक्‍ट है और सेना, कमीशन के निर्देशों का पालन करेगी।

अलग-अलग जगहों पर डेप्‍लॉय ट्रूप्‍स

अलग-अलग जगहों पर डेप्‍लॉय ट्रूप्‍स

गफूर ने इन अफवाहों को भी पूरी तरह से निराधार करार दिया जिसमें कहा गया था कि मिलिट्री पर्सनल को अलग-अलग निर्देश जारी किए जा चुके हैं। उन्‍होंने कहा कि चुनावों से सेना को कोई लेना-देना नहीं है और सेना सिर्फ आयोग के निर्देशों को मान रही है। पाकिस्‍तान की सेना को यहां की राजनीति में प्रभावशाली माना जाता है। जब से पाकिस्‍तान आजाद हुआ है तब से ही पाकिस्‍तान की सेना ने कई बार देश पर शासन करके अपना वर्चस्‍व साबित करने की कोशिश की है। गफूर ने इस बात की जानकारी देने से इनकार कर दिया कि ट्रूप्‍स को कैसे डिप्‍लॉय किया जाएगा। उनका कहना था कि सेना अपने काम को पूरा कर चुकी है और हर प्रांत की सुरक्षा को देखते ही इसकी जानकारी साझा नहीं की जा सकती है।

फेक अलर्ट को लेकर दी चेतावनी

फेक अलर्ट को लेकर दी चेतावनी

ईसीपी के सेक्रेटरी बाबर याकूब ने सीनेट पैनल को ब्रीफ किया और कहा कि कुल 800,000 सुरक्षा अधिकारियों जिसमें सैनिक, पुलिस और पैरामिलिट्री शामिल हैं, इन्‍हें चुनावों के समय डेप्‍लॉय किया जाएगा। याकूब ने बताया कि 700,000 पोलिंग स्‍टाफ चुनावों में अपनी ड्यूटीज को पूरा करेगा। उन्‍होंने भी इस बात से इनकार किया कि पाकिस्‍तान की सेना का चुनावों में ड्यूटी देने के अलावा कोई और रोल है। इस बीच सेना की ओर से अलर्ट जारी किया गया है और लोगों को चेतावनी दी गई है कि वे आईएसपीआर के हवाले से सोशल मीडिया पर जारी हो रहे अलग-अलग तरह के अलर्ट से सावधान रहें। गफूर ने कहा है कि आईएसपीआर की ओर से इस तरह के कोई अलर्ट जारी नहीं किए गए हैं।

English summary
Pakistan Army says it has no direct role in the conduct of polls on 25th July.
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