FATF ने पाकिस्तान से पूछा, उन मदरसों पर क्या कार्रवाई की जो हाफिज सईद के हैं
पेरिस। टेरर फाइनेसिंग पर नजर रखने वाली अंतरराष्ट्रीय संस्था, फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स (एफएटीएफ) ने पाकिस्तान से उन मदरसों पर सफाई मांगी और उनसे जुड़े आंकड़ें मांगे हैं, जो प्रतिबंधित संगठनों से जुड़े हुए हैं। एफएटीएफ की ओर से यह नया घटनाक्रम ऐसे समय हुआ है जब पिछले दिनों ही पाकिस्तान ने एक रिपोर्ट संस्था को सौंपी है जिसमें उन कदमों का जिक्र किया गया है जो आतंकवाद और मनी लॉन्ड्रिंग को रोकने के लिए उठाए गए हैं।
फरवरी 2020 तक ग्रे लिस्ट में है पाकिस्तान
एफएटीएफ की तरफ से पाकिस्तान को फरवरी 2020 तक ग्रे लिस्ट में रखा गया है। अक्टूबर में पाक को संस्था की तरफ से चेतावनी दी गई थी कि अगर उसने 27 सवालों में से 22 बिंदुओं पर कोई कदम नहीं उठाया तो फिर उसे ब्लैकलिस्ट कर दिया जाएगा। पाक की तरफ से छह दिसंबर को एक रिपोर्ट एफएटीएफ के पास जमा की गई है जिसमें 22 सवालों के जवाब दिए गए हैं। इस रिपोर्ट की प्रतिक्रिया के तहत एफएटीएफ के ज्वॉइन्ट ग्रंप ने पाकिस्तान को 150 सवालों की एक नई लिस्ट दी है। इस लिस्ट में पाकिस्तान से कुछ सफाई मांगी गई है। इन सवालों में सबसे अहम है पाक से पूछा जाना कि उसने उन मदरसों के खिलाफ क्या कार्रवाई है जो प्रतिबंधित संगठनों से जुड़े हैं।
हाफिज के मदरसों पर किया बड़ा सवाल
पाकिस्तान के एक टॉप ऑफिसर की तरफ से कहा गया है, 'हमारी रिपोर्ट के बाद हमें एफएटीएफ की तरफ से एक ई-मेल मिला है। इसमें उन्होंने करीब 150 सवाल पूछे हैं। इनमें से कुछ सवालों में हमसे कुछ आंकड़ें, कुछ सफाई मांगी गई है। सबसे महत्वपूर्ण है कि हमें उन मदरसों के बारे में और उनके खिलाफ लिए गए एक्शन के बारे में पूछा गया है जो प्रतिबंधित हैं।' अधिकारियों ने बताया है कि मुंबई आतंकी हमलों के मास्टरमाइंड हाफिज सईद के जमात-उद-दावा (जेयूडी) के इस समय 300 मदरसें और स्कूलों को नेटवर्क शामिल हैं। मार्च 2019 में पंजाब पुलिस की तरफ से बताया गया था कि उसने 160 मदरसों और 32 स्कूलों के अलाचा दो कॉलेजों, चार अस्पतालों, 178 एंबुलेंसेज और 153 दवाखानों को जब्त किया था। ये सभी प्रांत में जेयूडी की धर्मार्थ संस्था फलाह-ए-इंसानियत से जुड़े थे।