राज्यपालों की नियुक्ति पर शिवसेना ने BJP पर साधा निशाना, कहा- हमें भी मौका दो
मुंबई। केंद्र और महाराष्ट्र सरकार में भारतीय जनता पार्टी की सहयोगी दल शिवसेना ने राज्यपालों की नियुक्ति के संबंध में पार्टी पर निशाना साधा है। शिवसेना की ओर से सहयोगी दलों के लिए भी मौके की मांग की गई है।
शिवसेना ने कहा है कि 'राज्यपालों की नियुक्ति के दौरान सहयोगी दलों के प्रतिभाशाली और प्रतिबद्ध लोगों को भी ध्यान में रखना चाहिए।'
शिवसेना के मुखपत्र सामना में लिखा गया है कि 'जहां तक राज्यपालों की नियुक्ति के मुद्दे का संबंध है, भाजपा के शासन में स्थिति कांग्रेस से अलग नहीं है।'
लिखा गया है कि मणिपुर और पंजाब में भी जल्द ही चुनाव होने वाले हैंस ऐसे में नई नियुक्ति पाए लोगों के पास मौका होता है कि वे अपनी राजनीतिक ड्यूटी पूरी कर सकें।
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सामना में यह भी लिखा गया है कि 'राजभवन संकट के समय में सिर्फ 'राजनीतिक मांद' बन कर रह गई है। राज्य वैसा ही चलता है जैसा कि राज्यपाल चाहता है और वो अपने राजनीतिक आकाओं की ही सुनेंगे।'
चुटकी लेते हुए लिखा गया है कि 'आज देश के राज्यपालों की सूची देखिए, यह पता लग जाएगा कि वो सभी जो अपने राजनीतिक जीवन के आखिरी दौर में हैं उन्हें गवर्नर पद दे दिया गया है। यह सच है कि सत्ताधारी दल करीब 40 लोगों को बंगला, कार और कुछ अन्य सुविधाएं मुहैया करा सकता है जो एक गवर्नर और लेफ्टिनेंट गवर्नर को दी जाती हैं।'
सहयोगी दल से एक भी राज्यपाल नहीं
शिवसेना की ओर से पत्र में कहा गया है कि ' भाजपा के सत्ता में आने के बाद से जो भी राज्यपाल नियुक्त किए गए हैं उनमें से एक भी सहयोगी दल से ताल्लुक नहीं रखते।'
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लिखा गया है कि 'अगर राजनीतिक व्यक्ति गवर्नर के पद के लिए नियुक्त किए जाएंगे तो टीडीपी,अकाली दल, शिवसेना के पास भी पूर्व एमपी,एमएलए और पूर्व मंत्री हैं जो इस जिम्मेदारी को लेने के लिए तैयार हैं। सहयोगी दलों से लोगों को नियुक्त करने में कोई दिक्कत नहीं होनी चाहिए।'
सामना में लिखा गया है कि 'सहयोगी दलों में भी कई अनुभवी और जिम्मेदार लोग मौजूद हैं लेकिन वो सरकार जो 280 सदस्यों के बल पर सरकार चला रही है वो अपने सहयोगियों की नहीं सुनेगी।'
इन लोगों की हुई है नियुक्ति
गौरतलब है कि बीते बुधवार ( 17 अगस्त को )केंद्र सरकार ने तीन राज्यों में नए राज्यपाल की नियुक्ति की थी। इनमें मणिपुर, पंजाब और असम का नाम शामिल है।
तीन राज्यों में नए राज्यपाल, नजमा भेजी गई मणिपुर
जहां नागपुर से तीन बार सांसद रहे बनवारी लाल पुरोहित को असम का राज्यपाल बनाया गया हैवहीं दिल्ली के वरिष्ठ बीजेपी नेता जगदीश मुखी को अंडमान-निकोबार का उप-राज्यपाल चुना गया है।
नजमा हेपतुल्ला को मणिपुर भेजा गया है।