कुवैत में नूपुर शर्मा के खिलाफ प्रदर्शन वाले प्रवासी होंगे गिरफ्तार, वापस भेजे जाएंगे भारतीय- रिपोर्ट्स
कुवैत सिटी, जून 13। बीजेपी से निष्कासित नेता नूपुर शर्मा के पैगंबर मोहम्मद को लेकर दिए बयान के खिलाफ कुवैत में रहने वाले प्रवासियों ने विरोध प्रदर्शन किया था। इनमें कुछ भारतीय भी शामिल थे। इन प्रदर्शनकारियों पर अब कुवैत सरकार सख्त नजर आ रही है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, कुवैत सरकार ने उन सभी प्रवासियों को गिरफ्तार करने और उन्हें उनके देश वापस भेजने का आदेश दिया है। इनमें कुछ भारतीय भी होंगे।
सख्त कानून की वजह से हुआ ऐसा
इंडिया टुडे की रिपोर्ट के मुताबिक, कुवैत सरकार ने उन प्रवासियों की पहचान करने के बाद उन्हें गिरफ्तार करने और फिर उन्हें उनके देश वापिस भेजने का फैसला किया है, जिन्होंने हाल ही में नूपुर शर्मा के बयान का कड़ा विरोध किया था। कुवैत सरकार का फैसला थोड़ा हैरान करने वाला तो है, क्योंकि भारत में भी अभी तक सरकार ऐसे प्रदर्शनकारियों पर सख्त एक्शन नहीं ले पाई है, लेकिन आपको बता दें कि कुवैत समेत सभी खाड़ी देशों में कानून सख्त होने की वजह से ऐसा हुआ है।
'भारतीय प्रवासियों पर नरमी नहीं बरतेगी कुवैत सरकार'
रिपोर्ट के अनुसार, कुवैत में रहने वाले प्रवासियों के लिए एक श्रम कानून है, जिसके तहत उन लोगों को विरोध जताने की अनुमति नहीं होती। कुवैत में रहने वाले एक भारतीय पत्रकार का भी कहना है कि वहां की सरकार भारतीय प्रवासियों के साथ नरमी नहीं बरतेगी। पत्रकार का कहना है कि जिन लोगों ने नूपुर शर्मा का विरोध किया था, उनको लेकर कोई उम्मीद नहीं है कि उनपर सरकार कोई नरमी बरतेगी, उन्हें बहुत जल्द भारत वापस भेज दिया जाएगा।
गिरफ्तार किए जा चुके हैं प्रदर्शन करने वाले लोग
भारतीय पत्रकार ने कहा है कि कुवैत सरकार अपने कानूनों को लेकर काफी सख्त है। अगले कुछ हफ्तों के भीतर नूपुर शर्मा के खिलाफ प्रदर्शन करने वाले भारतीयों को वापस भेज दिया जाएगा। कुवैत सरकार के अनुसार, पैगंबर मुहम्मद के समर्थन में जुमे की नमाज के बाद फहील इलाके में प्रदर्शन करने वाले प्रवासियों को गिरफ्तार करने के निर्देश जारी किए गए हैं। उन प्रदर्शनकारियों ने कुवैत के नियमों का उल्लंघन किया है, जो निर्धारित करता है खाड़ी देशों में प्रवासियों को धरना-प्रदर्शन करने की अनुमति नहीं होती।
क्या कहता है नियम?
कुवैत में रहने वाले प्रवासियों के लिए एक कानून है, जिसके अनुसार उन्हें किसी भी प्रदर्शन या फिर धरने में शामिल होने की मनाही होती है। इसके अलावा कुवैत में वैसे भी प्रदर्शन वाले नियमों को लेकर काफी सख्ती है, जिसकी वजह से वहां काफी कम प्रदर्शन होते हैं।