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ऑस्ट्रे्लिया की सेना ने माना, अफगानिस्तान में उनके सैनिकों ने 39 लोगों की गैरकानूनी तरह से हत्या की

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नई दिल्ली। अफगानिस्तान में तैनात ऑस्ट्रेलिया की एलीट फोर्स को लेकर चौंकाने वाली जानकारी सामने आई है। रिपोर्ट के मुताबिक यहां तैनात ऑस्ट्रेलिया की एली फोर्स ने कथित तौर पर 39 अफगानिस्तान के नागरिकों और कैदियों की गैर कानूनी तरीके से हत्या की थी। ऑस्ट्रेलियाई सेना के प्रमुख जनरल एंगस कैंपबेल ने खुद गुरुवार को इस बात को स्वीकार किया है कि इस बात के पुख्ता सबूत है कि तकरीबन 39 अफगानिस्तान के नागरिकों को ऑस्ट्रेलिया के सैनिकों ने गैर कानूनी तरह से हत्या की है। उन्होंने कहा कि इसमे से कुछ लोग युद्ध में शामिल नहीं थे, फिर भी उनकी हत्या की गई।

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कैंपबेल ने बताया कि पिछले चार साल से युद्ध अपराधों की आंतरिक जांच हो रही है। कैंपबेल ने अफगानिस्तान के नागरिकों के साथ हुए इस अपराध की बिना किसी शर्त माफी मांगी है। उन्होंने कहा कि मैं ईमानदार अफगानिस्तान के नागरिकों के खिलाफ ऑस्ट्रेलियाई सैनिकों द्वारा किए गए गलत काम के लिए माफी मांगता हूं। कैंपबेल ने कहा कि 2005 से 2016 के बीच अफगानिस्तान में ऑस्ट्रेलिया के सैनिकों ने युद्ध अपराध किए, उनपर इसके तमाम आरोप लगे, जिसकी जांच चल रही थी। हम इन लोगों के खिलाफ युद्ध अपराध का मुकदमा चलाएंगे, क्योंकि यह पेशेवर मूल्यों के खिलाफ है और यह नियमों का उल्लंघन है। जिन लोगों ने ये हरकत की है उन्हें कोर्ट का सामना करना पड़ेगा।

जांच के दौरान इस बात के पुख्ता सबूत मिले हैं कि ऑस्ट्रेलियाई सेना में विशेष बल के 25 जवान इस तरह के अपराध में शामिल हैं। इन लोगों ने अफगानिस्तान के सैनिक कैदियों, किसानों और निहत्थे नागरिकों के खिलाफ अत्याचार किया और इन्हें मौत के घाट उतार दिया। हमारे पास 23 अवैध हत्याओं के पुख्ता सबूत हैं, कुल 39 लोगों की हत्या की गई है। युद्ध अपराध का यह सिलसिला 2009 में शुरू हुआ, जबकि अधिकतर लोगों की 2012-13 के बीच हत्या की गई। सैनिकों ने लोगों को मारने के अपने लक्ष्य को हासिल करने के लिए पहले कैदियों को गोली मार दी और इसके बाद इनकी हत्या के फर्जी सबूत पेश करने की कोशिश की गई।

कैंपबेल ने कहा कि इस तरह का अपराध स्वीकार नहीं किया जा सकता है, अफगानिस्तान के लोगों ने हमपर भरोसा जताया और हमने उस भरोसे का अपमान किया। जिन लोगों ने मदद के लिए गुहार लगाई, उनके साथ यह बर्ताव हुआ, मैं इसके लिए माफी मांगता हूं। बता दें कि जांच रिपोर्ट में सिफारिश की गई है कि हत्या के अपराध में शामिल 19 लोगों की जांच की जाए। कैंपबेल ने कहा कि मैंने महानिरीक्षक की जांच रिपोर्ट को स्वीकार कर लिया है और 143 सिफारिशो को लागू करने के लिए एक विस्तृत योजना बनाई जा रही है। ऑस्ट्रेलिया की सेना की ओर से कहा गया है कि कुल 55 मामलों की जांच की गई है, जिसमे 336 गवाहों से सबूत इकट्ठा किए गए हैं। गौरतलब है कि 2001 में अमेरिका में हुए आतंकी हमले के बाद 2002 में ऑस्ट्रेलिया के सैनिकों की अफगानिस्तान में तैनाती की गई थी , कुल 39000 ऑस्ट्रेलिया के सैनिकों को यहां तैनात किया गया था, जिसमे 41 की मौत हो गई थी, जिसके बाद 2013 में ऑस्ट्रेलिया ने अपने अधिकतर सैनिकों को वापस बुला लिया था।

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English summary
Australian troop admits unlawful crime against Afghanistan people ending life of 39.
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