अल्पसंख्यकों के खिलाफ नहीं है मोदी सरकार, मुस्लिमों को गुमराह करने की हो रही कोशिश: राजनाथ सिंह
नई दिल्ली। केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने रविवार को मोदी सरकार पर लगाए जा रहे संप्रदायवाद की राजनीति को सिरे से खारिज कर दिया। उन्होंने ने कहा कि मोदी सरकार का अल्पसंख्यकों के साथ धार्मिक विरोध किया जा रहा है यह बिल्कुल गलत है। राजनाथ सिंह ने भारतीय जनता पार्टी में शामिल निहित स्वार्थ और राजनेताओं व संप्रदायिक राजनीति में शामिल लोगों की भी गलत बताया है। उन्होंने कहा कि जब से नागरिकता संशोधन कानून लागू किया गया है तब से विपक्ष और बड़ी संख्या में मुस्लिम समुदाय इसका विरोध कर रहे हैं।
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जानकारी के मुताबिक, प्रदर्शनकारी सीएए को मुसलमानों के खिलाफ भेदभावपूर्ण बता रहे हैं। रक्षा मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सरकार शुरू से ही आशंकाओं को दूर करने के प्रयास में लगी हुई है। यह डर मुस्लिम समुदाय में पहले से ही मौजूद था। राजनाथ ने कहा, 'कुछ ताकतें हैं जो उन्हें गुमराह करने की कोशिश कर रही हैं, लेकिन भाजपा इन परिस्थितियों में भारत के अल्पसंख्यकों के खिलाफ नहीं जा सकती है।' पीएम मोदी ने हमेशा 'सबका साथ, सबका विकास' का नारा दिया है।
रक्षा मंत्री ने आगे कहा कि जाति, नस्ल, रंग या धर्म के आधार पर भेदभाव का कोई सवाल ही नहीं है, हम इसके बारे में सोचते भी नहीं हैं। कार्यक्रम में राजनाथ सिंह ने जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्रियों की हिरासत से जल्द रिहाई की प्रार्थना की। उन्होंने कहा उम्मीद है, वे कश्मीर के हालात को सामान्य करने में मददगार साबित होंगे। बता दें कि घाटी से अनुच्छेद-370 हटने के बाद से 3 पूर्व मुख्यमंत्री फारूक अब्दुल्ला, उनके बेटे उमर अब्दुल्ला और महबूबा मुफ्ती सहित दर्जनों नेता हिरासत में हैं। गौरतलब है कि पिछले वर्ष 5 अगस्त को मोदी सरकार द्वारा जम्मू-कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा देने वाले अनुच्छेद-370 को हटा दिया गया था।
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