नेपाल ने दिया चीन को बड़ा झटका, रद्द किया ये करार
थापा ने अपने ट्विटर पर लिखा कि 'चीनी कंपनी के साथ जुड़ी अनियमितताओं को देखते हुए बुढ़ी गंडक पनबिजली परियोजना के निर्माण को लेकर जिजूवा समूह के साथ बूढ़ी गंडक समझौते को कैबिनेट की बैठक में खत्म कर दिया गया है, जैसा कि संसदीय समितियों द्वारा निर्देशित है।'
नई दिल्ली। नेपाल सरकार ने चीन को बड़ा झटका दिया है। नेपाल ने चीन की जिजुआ समूह कंपनी के साथ पनबिजली परियोजना निर्माण में अनियमितताओं को देखते हुए इस कंपनी के साथ बूढ़ी गंडक समझौते को रद्द कर दिया है। नेपाल के उप प्रधानमंत्री कमल थापा ने ट्विटर पर ये सूचना जारी कर कहा कि संसदीय समिति के निर्देशों के अनुसार, यह परियोजना रद्द कर दी गई है।
थापा ने अपने ट्विटर पर लिखा कि 'चीनी कंपनी के साथ जुड़ी अनियमितताओं को देखते हुए बुढ़ी गंडक पनबिजली परियोजना के निर्माण को लेकर जिजूवा समूह के साथ बूढ़ी गंडक समझौते को कैबिनेट की बैठक में खत्म कर दिया गया है, जैसा कि संसदीय समितियों द्वारा निर्देशित है।'
आपको बता दें कि बूढ़ी गंडक जलविद्युत परियोजना एक भंडारण परियोजना है जो नेपाल के बूढ़ी गंडक नदी पर मध्य- पश्चिमी क्षेत्र में स्थित है। यह परियोजना नेपाल के पूर्व प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल (प्रचंड) की अगुवाई वाली माओवादी नेतृत्व वाली सरकार द्वारा डेढ़ साल पहले गेहुबावा वॉटर एंड पावर (ग्रुप) कंपनी लिमिटेड (सीजीजीसी) कंपनी को दी गई थी।
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