एलएसी पर झड़प के बाद दिल्ली पहुंचे लद्दाख एलजी, पीएम मोदी ने भी की बैठकें
नई दिल्ली। चीन और भारत की सेनाओं के बीच एक बार फिर वास्तविक नियंत्रण रेखा पर झड़प हुई है। चीनी सेना ने पूर्वी लद्दाख के पैंगोंग सो में घुसपैठ की कोशिश की, जिसे भारत की सेना ने नाकाम कर दिया। इस मामले के बाद सोमवार सुबह लद्दाख के लेफ्टिनेंट गवर्नर आर के माथुर ने दिल्ली पहुंचकर वरिष्ठ अधिकारियों को मामले की जानकारी दी है। वहीं नरेंद्र मोदी भी लगातार स्थिति को लेकर बैठकें कर रहे हैं।

रक्षा मंत्रालय ने जानकारी दी है कि पूर्वी लद्दाख में भारत और चीन की सेनाओं के बीच झड़प हुई है। 29 और 30 अगस्त की रात चीनी सैनिकों ने घुसपैठ की कोशिशें की, जिसके बाद दोनों देशों के सैनिकों के बीच झड़प हुई। जिसके बाद सीमा पर स्थिति लगातार तनावपूर्ण है। सेना प्रवक्ता कर्नल अमन आनंद ने सोमवार को बताया है, 29 और 30 अगस्त की रात पीएलए के जवानों ने पूर्वी लद्दाख में जारी टकराव के दौरान मिलिट्री और राजनयिक वार्ता के दौरान बनी आम सहमति का उल्लघंन किया और भड़काऊ सैन्य गतिविधियों को अंजाम दिया है।
सेना बातचीत के जरिए शांति और स्थिरता कायम रखने के लिए प्रतिबद्ध है लेकिन साथ ही समान रूप से अपनी क्षेत्रीय अखंडता की सुरक्षा के लिए भी दृढ़ निश्चित है। कर्नल आनंद ने जानकारी दी है कि चुशुल में इस समय ब्रिगेड कमांडर मीटिंग इस मुद्दे को सुलझाने के लिए जारी है। चीनी सैनिकों ने इस बार पैंगोंग झील के दक्षिणी हिस्से में गतिविधियों को अंजाम दिया है। इस समय झील के दक्षिणी हिस्से में भी चीनी सैनिकों को भारी जमावड़ा है।
चीन एलएसी पर लगातार भारतीय क्षेत्र में घुसपैठ की कोशिश में है। इसके लेकर कई महीने से दोनों देशों के बीच तनाव है। लगातार बातचीत भी हो रही है, इसके बावजूद भी सेनाओं के बीच तनाव बना हुआ है। इससे पहले 15 जून को गलवान घाटी में हिंसक झड़प हुई थी, जिसमें 20 भारतीय सैनिक शहीद हुए थे। इसके बाद तनाव काफी ज्यादा बढ़ गया था लेकिन दोनों देशों ने ही बातचीत से तनाव को घटाया।