'एक देश एक चुनाव' के लिए प्रधानमंत्री मोदी की ओर से बुलाई बैठक में शामिल नहीं होंगी ममता बनर्जी
नई दिल्ली। पश्चिम बंगाल की सीएम और टीएमसी प्रमुख ममता बनर्जी ने संसदीय कार्य मंत्री प्रहलाद जोशी को एक पत्र लिखकर कहा है कि वो प्रधानमंत्री द्वारा बुलाए गए सभी राजनीतिक पार्टियों के प्रमुखों की बैठक में शामिल नहीं हो पाएंगी। ममता बनर्जी ने कहा कि इतने कम समय में 'वन नेशन वन इलेक्शन' जैसे संवेदनशील विषयों पर प्रतिक्रिया देना न्यान नहीं हो पाएगा। बता दें कि पीएम नरेंद्र मोदी ने देश में एक राष्ट्र एक चुनाव पर चर्चा के लिए 19 जून को सर्वदलीय मीटिंग बुलाई है।
एक राष्ट्र एक चुनाव के मुद्दे को काफी अहम माना जा रहा है। रविवार को 17 जून से शुरू हो रहे संसद सत्र पर चर्चा के लिए पीएम मोदी ने सभी दलों के साथ चर्चा की। मीटिंग के बाद मीडिया को संबोधित करते हुए, संसदीय कार्य मंत्री प्रहलाद जोशी ने कहा कि दोनों सदनों के सुचारू संचालन के लिए सभी पक्षों, विशेषकर विपक्ष से अनुरोध किया है। प्रहलाद जोशी ने कहा कि "एक राष्ट्र, एक चुनाव" मुद्दे पर चर्चा के लिए 19 जून को ये मीटिंग पीएम ने बुलाई है। इस मीटिंग में भारत की आजादी के 75 साल के जश्न और महात्मा गांधी की 150 वीं जयंती पर भी चर्चा होगी। प्रहलात जोशी ने कहा कि 20 जून को सभी लोकसभा सांसदों और राज्यसभा सासंदो की मीटिंग में पीएम मोदी हिस्सा लेंगे।
जोशी के कहा कि ये प्रयास टीम भावना को बढ़ाने में लंबा सफर तय करेंगे। आज की सर्वदलीय मीटिंग में विपक्ष ने संसद में किसान संकट, बेरोजगारी और सूखे जैसे मुद्दों पर चर्चा की मांग की। कांग्रेस पहले से ही देश में एक राष्ट्र एक चुनाव का विरोध करती रही है। पिछले साल अगस्त में भी कांग्रेस ने इसका विरोध किया था। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मल्लिकार्जुन खड़गे, पी चिदंबरम समेत अन्य नेताओं ने विधि आयोग के समक्ष इस प्रस्ताव पर असहमति जताई थी। कांग्रेस के नेताओं ने विधि आयोग से कहा था कि वह लोकसभा और विधानसभा चुनाव एकसाथ कराए जाने के विचार का विरोध करती है क्योंकि यह भारतीय संघवाद के बुनियादी ढांचे के खिलाफ है।
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