LJP ROW: चिराग की मदद को आगे आया उनका खास दोस्त 'सौरभ', शेयर की रामविलास पासवान की चिठ्ठी
नई दिल्ली, 21 जून: इस वक्त लोक जनशक्ति पार्टी (एलजेपी) में दो फाड़ मची हुई है। स्वर्गीय रामविलास पासवान के भाई पशुपति कुमार पारस ने हाल ही में एलजेपी को पूरी तरह से अपने कब्जे में ले लिया है तो वहीं पार्टी में अलग-थलग पड़े चिराग ने भी अब खुलकर अपने चाचा के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है।
चिराग की मदद को आगे आया उनका खास दोस्त
पारस जहां दावा कर रहे हैं कि पार्टी के लोग उनके साथ हैं और चिराग से खुश नहीं हैं, वहीं दूसरी और अब चिराग की मदद को आगे आए उनके भाई जैसे दोस्त और लोक जनशक्ति पार्टी के युवा नेता सौरभ पांडेय, जिन्होंने अपने ट्विटर अकाउंट पर पिता तु्ल्य रामविलास पासवान की एक चिठ्ठी को शेयर करके पार्टी के लोगों से चिराग का साथ देने की अपील की है। ये चिठ्ठी सौरभ को 1 जनवरी 2020 को रामविलास पासवान ने अपने हाथों से लिखकर भेजी थी।
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'जिसने मेहनत देखी है अब वो हैं नहीं'
चिठ्ठी को शेयर करते हुए सौरभ पांडे ने लिखा है कि 'जिसने मेहनत देखी है अब वो हैं नहीं , जिसने पार्टी को आगे बढ़ाने की ज़िद्द देखी है अब वो हैं नहीं। आइए हम सब चिराग के नेतृत्व में चलें। @LJP4India @iChiragPaswan.1 जनवरी 2020 को आदरणीय स्वर्गीय राम विलास पासवान जी द्वारा लिखा गया पत्र।'
यहां देखें: लोक जनशक्ति पार्टी के युवा नेता सौरभ पांडेय की पोस्ट
क्या लिखा है चिठ्ठी में?
प्रिय बेटे सौरभ को,
मम्मी-पापा की ओर से नवर्ष की हार्दिक शुभकामनाएं, मुझे पता है कि तुम्हें हमारी शुभकामनाओं का कितना इंतजार रहता है, तुम मेरे परिवार के सिर्फ सदस्य ही नहीं हो बल्कि चिराग की ही तरह हो, ईश्वर तुम्हें हमेशा खुश रखे, आज चिराग जिस ऊंचाई पर है वहां उसे पहुंचाने में तुम्हारा बहुत बड़ा योगदान है। तुम्हारे सहयोग से चिराग आज ना सिर्फ एक एमपी है, बल्कि पार्टी का राष्ट्रीय अध्यक्ष भी है। साल 2013 में चिराग ने राजनीति में कदम रखा, आज वो इतने कम वक्त में आगे बढ़ गया है,
'करोड़ों में एक होता है तुम्हारे जैसा दोस्त'
उसकी तरक्की में तुम जैसे दोस्त का बड़ा हाथ है। तुम्हीं ने उसे राजनीति में आने की सलाह दी थी और तुम्हारे जैसा दोस्त करोड़ों में एक होता है। मुझे पता है कि इसके लिए तुम्हें काफी ताने भी सुनने पड़ते हैं लेकिन एक बात बता दूं कि जब इंसान का बढ़ता है तो उसकी आलोचना भी बढ़ती है। लेकिन इससे घबराना नहीं चाहिए। अभी तुम दोनों को देश के लिए काफी कुछ करना है, मुझे यकीन है कि तुम दोनों ऐसा जरूर कर पाओगे।