राजस्थान में दलितों को मंदिर में जाने से रोका, विरोध कर रहे विधायक व समर्थक गिरफ्तार
जयपुर। राजस्थान में दलितों के मंदिर में प्रवेश नहीं दिए जाने से नया विवाद खड़ा हो गया है। जालोर जिले के शंखवाली गांव में दलितों को मंदिर में प्रवेश से रोकने की वजह से बवाल मच गया। जब मंदिर में दलितों को प्रवेश करने से रोका गया तो लालसोट विधायक डॉक्टर किरोड़ीलाल मीणा अपने 50 सहयोगियों के साथ दलितों को यहां प्रवेश कराने के लिए पहुंचे, लेकिन पुलिस ने इन सभी लोगों को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने सभी लोगों को शांति भंग करने के आरोप में गिरफ्तार कर लिया है। इन सभी लोगों को चरली गांव के पास पुलिस सुरक्षा में एक बस में रखा गया।
घटना की सूचना मिलती ही मौके पर एसपी विकास कुमार शर्मा पुलिस बल के साथ पहुंचे, उनके साथ कई आला अधिकारी भी मौके पहुंचे। आपको बता दें कि जब मंदिर में दलितों को प्रवेश करने से रोका गया तो किरोड़ीलाल रविवार दोपहर को एक रैली को संबोधित करने के बाद अपने समर्थकों के साथ वहां पहुंचे, जहां दो गुट आमने-सामने आ गए और उनकी आपस में भिड़त हो गई। दोनों ही गुटों की आपस में झड़प की जानकारी मिलने के बाद मौके पर पुलिस पहुंची थी।
वहीं शंखवाली गांव के राजपुरोहित समाज ने इस मंदिर को निजी मंदिर बताते हुए इस मंदिर में दलितों के प्रवेश को रोक दिया था, जिसके बाद दलित व राजपुरोहित आमने-सामने आ गए थे। हालांकि पुलिस ने दोनों ही राजपुरोहित व दलित समाज के बीच बातचीत करके मामला शांत कराने की कोशिश की लेकिन जब स्थिति काबू से बागर जाने लगी तो पुलिस बल को बुलाना पड़ा और मौके पर आला अधिकारी पहुंचे। मामले को शांत करने के लिए पुलिस ने किरोड़ीलाल सहित उनके पचास समर्थकों को गिरफ्तार कर लिया और उन्हें पुलिस बस में बैठाकर गांव में ही रखा गया। इस घटना के बाद किरोड़ीलाल ने कहा कि हम दलितों के खिलाफ अत्याचार नहीं सहेंगे और अपने आंदोलन को जारी रखेंगे।
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