असदुद्दीन ओवैसी ने गुजरात में कांग्रेस को बताया फेल, इस वजह से लड़ रहे सिर्फ 12 सीटों पर चुनाव
Asaduddin Owaisi: एआईएमआईएम के सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि हमारी कोशिश है कि गुजरात की जनता का फायदा हो और नुकसान भाजपा, कांग्रेस और आप को हो। गुजरात में 27 साल से भाजपा की सरकार है और 27 साल से कांग्रेस एक नाकामयाब विपक्ष साबित हुआ है। यहां पर जनता की समस्याएं बहुत ज्यादा हैं। यही वजह है कि यहां नेतृत्व की जरूरत है। हमारी पार्टी की कोशिश है कि जो भाजपा का डर दिखाकर वोट तो हासिल कर लेती हैं लेकिन जीतने के बाद उनके विधायक भाजपा में भाग जाते हैं, हम उसे रोकने की कोशिश कर रहे हैं।
केजरीवाल मोदी के नक्शेकदम पर चल रहे
ओवैसी ने कहा कि कांग्रेस का गुजरात में इतना बुरा हाल है कि मैं बयां भी नहीं कर सकता, उनके विधायक जीतकर भाजपा में चले जाते हैं। आम आदमी पार्टी की बात करें तो केजरीवाल 2013 के नरेंद्र मोदी मोदी बन गए हैं, उन्ही के नख्शेकदम पर चल रहे हैं, वह यूनिफॉर्म सिविल कोड पर कुछ नहीं बोलते, बिल्किस बानों पर कुछ नहीं बोलते, कोविड की जब पहली वेव चली तो केजरीवाल पहले मुख्यमंत्री हैं जिन्होंने तबलीगी जमात पर आरोप लगाए। अरविंद केजरीवाल पूरी तरह से हिंदुत्व के मुद्दे को अपना चुके हैं।
12 सीट पर लड़ने की बताई वजह
ओवैसी ने कहा कि संविधान के सेक्युलरिज्म को मैं मानता हूं। जब चुनाव आता है तो इसकी दुहाई दी जाती है लेकिन चुनाव के बाद उन्हें नकार दिया जाता है। गुजरात में 182 सीटों में से सिर्फ 12 सीटों पर ओवैसी की पार्टी चुनाव लड़ रही है, इसपर ओवैसी ने कहा अभी फैसला नहीं हुआ है कि 12 लड़ेंगे या 20 सीट पर। लेकिन मेरा मानना है कि हम किसी पार्टी को सत्ता में आने से नहीं रोक सकते हैं। हम अपनी आवाज को गुजरात की विधानसभा और देश के सदन में पहुंचाना चाहते हैं। यूपी में भी हमने यही कहा था। सिर्फ सत्ता में आना ही लक्ष्य नहीं होना चाहिए।
गुजरात में कांग्रेस गूंगी
ओवैसी ने कहा कि हम सिर्फ मुस्लिम उम्मीदवारों को ही नहीं उतारेंगे। मैं दलितों और मुसलमानों को इकट्ठा कर रहा हूं, यह कोशिश करनी चाहिए, यह हमारा लक्ष्य है। आज जिस तरह से देश में माहौल बन रहा है, हिंदुत्व की विचारधारा को कांग्रेस, भाजपा और आप आगे बढ़ा रही है उसका सबसे ज्यादा नुकसान दलित, मुसलमानों को हो रहा है। गुजरात में कांग्रेस गूंगी है, आप कुछ नहीं बोलती है, ये लोग देश के प्रधानमंत्री को चुनौती दे रहे हैं कि कौन सबसे बड़ा हिंदुत्ववादी है।