खर्राटों से मुक्ति के लिए नई तकनीक का इजाद
इस प्रत्यारोपण के जरिए एक ऐसे यंत्र का उपयोग किया जाएगा, जिसके माध्यम से गले में पाई जाने वाली सक्रिय नसों को बिजली का झटका दिया जाएगा। इससे कसी हुई मांसपेशियों के बीच से हवा आसान से गुजर सकेगी।
वैज्ञानिकों ने इस तकनीक को लेकर एक शोध किया है। शोध के दौरान तकनीक का उपयोग निंद्रा स्वासरोध से पीड़ित लोगों का इलाज किया गया। इससे उन्हें खर्राटों से काफी हद तक निजात मिल गया। साथ ही उनकी कई अन्य बीमारियां भी खत्म हो गईं।
इस बीमारी से छुटकारा पाने के लिए एक अन्य प्रभावी तरीके का इस्तेमाल किया जा सकता है। इसका नाम 'कंटिनियुअस पॉजिटिव एयरवे प्रेशर थेरेपी' (सीपीएपी) है।
इसके माध्यम से भी मांसपेशियों को हवा को बाहर निकलने का रास्ता देने के लिए खोला जाता है। यह तकनीक हालांकि थोड़ी तकलीफदेह है। वैज्ञानिकों ने दावा किया है कि नई तकनीक से लोगों को काफी फायदा होगा और यह तकलीफदेह भी नहीं है।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।