डीएनए जोड़ेगा अंतिम जार परिवार के तार
लंदन 25 जनवरी: उराल पहाडियों में पाये गये दो तरह की हड्डियों के डीएनए परीक्षण से लगता है कि जार परिवार के संभावित जीवित लोगों से तार जोडने में मदद मिल सकेगी. बोल्शेविक क्रांति के बाद 1918 में जार परिवार का सफाया कर दिया गया था.
अपराध विज्ञान विशेषज्ञों के मुताबिक डीएनए परिणाम बताते हैं कि मानव अवशेष 13 वर्षीय राजकुमार अलेक्सेई और उसकी बहन 19 वर्षीय राजकुमारी मेरिया की है. कम्युनिस्ट नेता लेनिन के आदेश पर उन्हें उनके पिता आखिरी जार निकोलस द्वितीय उनकी माता तथा तीन अन्य बहनों के साथ गोली से मार डाला गया था.
दशकों से उनके वंशजों को लेकर रहस्य बना हुआ है और गुत्थी अभी तक नहीं सुलझ पायी है. एक पेचीदा तथ्य नयी जानकारी में यह है कि हड्डियां उस कब्रगाह से नहीं मिली हैं जहां से परिवार के अन्य सदस्यों के अवशेष मिले हैं.
सालों से यह दावा किया जाता रहा है कि एक छोटी राजकुमारी संभवत: अनास्तासिया गोलीबारी के दौरान भागने में कामयाब रही और विदेश जा बसी. कई साल तक इस बारे में दावे होते रहे.
ब्रिटेन में अन्य परीक्षण चल रहे हैं. वहां अनुसंधानकर्ताओ को उम्मीद है कि ब्रिटिश शाही परिवार के सदस्यों खासकर निकोलस की पत्नी महारानी अलेक्सान्द्रा के भतीजे राजकुमार फिलिप के डीएनए से शायद यह डीएनए मिल जाय.