रक्षा मंत्रालय का बड़ा फैसला, सेना की 10 ब्रांच में महिलाओं को मिलेगा स्थायी कमीशन
नई दिल्ली। रक्षा मंत्रालय ने इंडियन आर्मी में महिलाओं को भागीदारी बढ़ाने के लिए मंगलवार को एक बड़ा फैसला लिया है। रक्षा मंत्रालय ने कहा कि महिला अधिकारियों को भारतीय सेना की सभी दस ब्रांच में स्थायी कमीशन दिया जाएगा। दरअसल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की स्वतंत्रता दिवस की घोषणा का अनुसरण करते हुए रक्षा मंत्रालय ने सशस्त्र सेनाओं में महिला अधिकारियों की स्थायी कमीशनिंग के लिए कदम उठाए हैं। इसका मतलब अब रिटायरमेंट की उम्र तक महिलाएं सेना में काम कर सकती हैं।
रक्षा मंत्रालय की तरफ से जारी बयान के मुताबिक अब सेना की सभी शाखाओं में महिलाओं को परमानेंट कमीशन दिया जाएगा। इससे पहले सेना की 10 शाखाओं में महिलाओं के लिए शॉर्ट सर्विस कमीशन का प्रावधान था। लेकिन अब महिलाएं अपनी मर्जी के मुताबिक या फिर रिटारयमेंट की उम्र खत्म होने पर ही नौकरी छोड़ सकती हैं। सेना में शार्ट सर्विस कमीशन (एसएससी) के जरिये जो अफसर भर्ती होते हैं, वह 14 साल तक सेवाएं दे पाते हैं। पहले यह अवधि महज दस साल थी।
लेकिन छठे वेतन आयोग के बाद इसे 14 साल किया गया। हालांकि सातवें वेतन आयोग ने यह विकल्प दिया है कि कोई सात साल की सेवा के बाद सेवा छोड़ना चाहता है तो उसे गोल्डन हैंडसेक दिया जाए। महिला अफसरों की भर्ती सिर्फ इसी रूट से होती है। तीनों सेनाओं में करीब साढ़े तीन हजार महिला अधिकारी एसएससी के जरिए भर्ती होकर कार्य कर रही हैं। 14 साल की सेवा के बाद शिक्षा, कानून, सिग्नल, इंजीनियरिंग आदि सेवाओं में महिला अफसरों को स्थाई कमीशन दिया जाता है।
रक्षा मंत्रालय ने कहा कि, जहां तक भारतीय वायु सेना का संबंध है लड़ाकू पायलटों समेत सभी ब्रांच महिला अधिकारियों के लिए खुली है।मंत्रालय ने बताया कि नौसेना में तीन नए प्रशिक्षण पोत शामिल करने का प्रस्ताव चल रहा है। उसने कहा, इससे पुरुष और महिलाओं दोनों अधिकारियों के प्रशिक्षण के लिए पर्याप्त ढांचा मिलेगा। एक बार इन प्रशिक्षण पोतों के शामिल होने के बाद भारतीय नौसेना सभी शाखाओं में महिलाओं की भर्ती शुरू करेगी।
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