कोरोना के चलते बिना भक्तों के होगी पुरी की रथ यात्रा, सिर्फ भगवान जगन्नाथ के सेवक लेंगे हिस्सा
भुवनेश्वर, 10 जून: कोरोना महामारी की दूसरी लहर ने देशभर में जमकर कहर बरपाया, जिस वजह से मजबूरन ज्यादातर राज्यों को लॉकडाउन का ऐलान करना पड़ा। हालांकि अब केंद्र और राज्य सरकारों की वजह से हालात धीरे-धीरे काबू में आ रहे हैं। इस बीच लोगों के मन में एक सवाल बना हुआ था कि पुरी में इस साल रथ यात्रा होगी या फिर उसे निरस्त कर दिया जाएगा। जिसको लेकर अब ओडिशा शासन ने फैसला ले लिया है।
मामले में ओडिशा के विशेष राहत आयुक्त प्रदीप के जेना ने कहा कि अभी कोरोना वायरस का खतरा टला नहीं है, ऐसे में इस साल पुरी रथ यात्रा कोविड प्रोटोकॉल के साथ आयोजित की जाएगी। जिसमें किसी तरह से भक्तों की भागीदारी नहीं होगी, सिर्फ भगवान के सेवक ही इसमें हिस्सा लेंगे। उन्होंने साफ किया कि ओडिशा सरकार इस बात की पुष्टि करेगी कि पिछले साल सुप्रीम कोर्ट ने जो आदेश दिए थे, उसका इस साल भी पूरी तरह से पालन किया जाए। ऐसे में सिर्फ कोविड-19 की निगेटिव रिपोर्ट और वैक्सीन की दोनों डोज लेने वाले ही रथ यात्रा के दौरान मौजूद रहेंगे।
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क्या
कहा
था
सुप्रीम
कोर्ट
ने?
आपको
बता
दें
कि
पुरी
की
रथयात्रा
का
काफी
ज्यादा
महत्व
है,
जिसमें
हर
साल
लाखों
की
संख्या
में
लोग
देश-विदेश
से
पहुंचते
हैं।
पिछले
साल
कोरोना
महामारी
को
देखते
हुए
सुप्रीम
कोर्ट
में
इससे
संबंधित
एक
याचिका
दायर
की
गई
थी।
जिसके
बाद
ओडिशा
सरकार
ने
कोर्ट
से
कहा
कि
बिना
भक्तों
के
भी
यात्रा
का
संचालन
विशेष
रूप
से
किया
जा
सकता
है।
इसके
बाद
सुप्रीम
कोर्ट
ने
यात्रा
की
इजाजत
दे
दी।
साथ
ही
इससे
संबंधित
11
निर्देश
जारी
किए
थे।
जिसमें
पुरी
के
प्रवेश
मार्गों
को
बंद
करना,
यात्रा
स्थल
पर
कर्फ्यू
लगाना
आदि
शामिल
था।