गृह मंत्रालय ने दोषी मुकेश की दया याचिका राष्ट्रपति को भेजी
नई दिल्ली। निर्भया गैंगरेप के चारों दोषियों के खिलाफ दिल्ली की पटियाला हाउस कोर्ट ने डेथ वारंट जारी किया है, जिसके मुताबिक 22 जनवरी को सुबह सात बजे चारों दोषियों को फांसी दी जानी है। सरकारी सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक गृह मंत्रालय को मुकेश सिंह की दया याचिका मिली थी, जिसे मंत्रालय ने कल ही राष्ट्रपति भवन के पास भेज दिया है।
चार में से दो दोषियों मुकेश और विनय ने सुप्रीम कोर्ट में क्यूरेटिव पिटीशन दायर की थी। सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को दोनों की याचिकाओं को खारिज कर दिया। इसके बाद एक दोषी मुकेश ने दिल्ली हाईकोर्ट से डेथ वॉरंट रद्द करने की मांग की। हाईकोर्ट ने ये याचिका खारिज कर दी और निचली अदालत में अपील करने को कहा था। इसके बाद दोषी मुकेश की दया याचिका को खारिज करने की सिफारिश करते हुए दिल्ली सरकार ने इसे उपराज्यपाल अनिल बैजल के पास भेजा।
वहीं, उपराज्यपाल ने केंद्रीय गृह मंत्रालय से याचिका खारिज करने की सिफारिश की थी। अब जो जानकारी सामने आ रही है, उसके मुताबिक गृह मंत्रालय ने दया याचिका खारिज करने की सिफारिश करते हुए इसे राष्ट्रपति के पास भेजा है। राष्ट्रपति इस याचिका को खारिज भी कर सकते हैं, और वे मौत की सजा को कम भी कर सकते हैं। फिलहाल, राष्ट्रपति भवन की तरफ से इस याचिका के संबंध में कोई बयान जारी नहीं किया गया है।
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6 दिसंबर, 2012 में देश की राजधानी दिल्ली में निर्भया के साथ दरिंदगी की गई थी। घटना के 7 साल पूरे होने के बाद भी अभी तक इस मामले में दोषियों को फांसी नहीं दी गई है। ऐसा इसलिए क्योंकि दोषी अपने बचाव के लिए कर कानूनी दांव पेंच का इस्तेमाल कर चुके हैं। निर्भया की मां ने पटियाला हाउस कोर्ट में याचिका दायर कर दोषियों को फांसी दिए जाने की मांग की थी। कोर्ट में फैसला सुनाते हुए 22 जनवरी, 2020 को सुबह साथ बजे फांसी देने का आदेश दिया।