गणतंत्र दिवस पर ब्रिटिश पीएम बोरिस जॉनसन होंगे मुख्य अतिथि? विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने दिया ये जवाब
गणतंत्र दिवस पर ब्रिटेन PM के मुख्य अतिथि होने के सवाल पर क्या बोले विदेश के प्रवक्ता
नई दिल्ली। 26 जनवरी पर गणतंत्र दिवस समारोह के मुख्य अतिथि के तौर पर ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन को आमंत्रित किए जाने के सवाल पर विदेश मंत्रालय ने कहा है कि इसकी जानकारी आने वाले समय में दी जाएगी। गुरुवार को साप्ताहिक प्रेस वार्ता में विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने कहा कि हमारे गणतंत्र दिवस समारोह में अभी वक्त है। इसके मुख्य अतिथि के बारे में घोषणा बाद में की जाएगी। इसलिए जब इसको लेकर जानकारी साझा करने का वक्त आएगा तो हम खुशी से इस बारे में बताएंगे।
ऐसी चर्चा है कि भारत ने ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन को अगले साल गणतंत्र दिवस समारोह के लिए मुख्य अतिथि के रूप में आमंत्रित किया है। खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 27 नवंबर को टेलीफोन पर बातचीत के दौरान जॉनसन को इन्वाइट किया है। इसी को लेकर विदेश मंत्रालय से सवाल किया गया था।
पाक दूसरे केस भी कुलभूषण जाधव से जोड़ने की कोशिश में
भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने बताया है कि पाकिस्तान की जेल में बंद कुलभूषण जाधव को अन्य मामले में भी जोड़े जाने की कोशिश हो रही है। उन्होंने कहा कि नियमित कांउसलर अभ्यास में शाहनवाज नून को एक भारतीय कैदी मोहम्मद इस्माइल की रिहाई के लिए एक मामले में हमारे उच्चायोग का प्रतिनिधित्व करने के लिए चुना गया था लेकिन ऐसा प्रतीत होता है कि नून ने पाकिस्तानी प्रतिष्ठान के दबाव में ऐसा बयान दिया जिसके लिए उसके पास कोई अधिकार नहीं है।बताया गया कि उनके पास भारत सरकार या कुलभूषण जाधव का प्रतिनिधित्व करने का कोई अधिकार नहीं है। इस्माइल के मामले की कार्यवाही के दौरान पाक अटॉर्नी जनरल ने जाधव से संबंधित मामले को उठाया। हालांकि ये दोनों मामले आपस में जुड़े नहीं हैं। पाकिस्तान इस तरह की कोशिशों से अन्य मामले को भी भटकाने की कोशिश कर रहा है।
चीन का ब्रह्मपुत्र प्रोजेक्ट
चीन के ब्रह्मपुत्र हाइड्रोपावर प्रोजेक्ट पर विदेश मंत्रालय ने कहा है कि हमने चीन से यह सुनिश्चित करने का आग्रह किया है कि अपस्ट्रीम क्षेत्रों में गतिविधियों से डाउनस्ट्रीम राज्यों के हित को नुकसान ना पहुंचे। चीनी पक्ष ने कई मौकों पर हमें अवगत कराया कि वे केवल नदी जल विद्युत परियोजनाओं का संचालन कर रहे हैं, जिसमें ब्रह्मपुत्र के पानी का डायवर्जन शामिल नहीं है।
ये भी पढ़ें- डोनाल्ड ट्रंप का जाते-जाते चीन को झटके देने का सिलसिला जारी, लगाए ये नए प्रतिबंध