क्विक अलर्ट के लिए
नोटिफिकेशन ऑन करें  
For Daily Alerts
Oneindia App Download

पंजाब कांग्रेस के घमासान में मनीष तिवारी की एंट्री, कैप्टन या सिद्धू किसका बिगड़ेगा खेल ?

Google Oneindia News

नई दिल्ली, 16 जुलाई: पंजाब में कांग्रेस के इंचार्ज हरीश रावत ने गुरुवार को जो कुछ कहा था, उससे यह अफवाह उड़ी थी कि पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी ने प्रदेश इकाई के सियासी घमासान को सुलझा लिया है। लेकिन, शुक्रवार को आनंदपुर साहिब से पार्टी सांसद और पूर्व केंद्रीय मंत्री मनीष तिवारी ने अपने दो ट्वीट के जरिए यह बताने की कोशिश कि है कि मामला इतना आसान भी नहीं है। मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह और नवजोत सिंह सिद्धू के खेमों के बीच हो रही बैठकों की दौर से भी साफ है कि मामला अभी फंसा हुआ है। कैप्टन खेमा सिद्धू के नाम पर हथियार डालने के लिए कतई तैयार नहीं है।

मनीष तिवारी ने ट्वीट करके पंजाब की राजनीति गर्माई

मनीष तिवारी ने ट्वीट करके पंजाब की राजनीति गर्माई

मनीष तिवारी ने ट्वीट के जरिए पंजाब की जनसांख्यिकी का ब्योरा देकर पंजाब में कांग्रेस की राजनीति में और ज्यादा गर्माहट ला दी है। तिवारी ने ट्वीट कर बताया है कि पंजाब की जनसंख्या में 57.75% सिख, 38.49% हिंदू और 31.94% दलित हैं (तिवारी के मुताबिक सिख और हिंदू दोनों को मिलाकर)। इतना ही नहीं उन्होंने लिखा है 'पंजाब प्रगतिशील और धर्मनिरपेक्ष दोनों है, लेकिन बराबरी सामाजिक न्याय की बुनियाद है! समानता।' पार्टी के भीतर के लोगों की मानें तो दरअसल अपने ट्वीट के जरिए तिवारी ने आलाकमान को बताने की कोशिश की है कि पंजाब में पार्टी के भविष्य के लिए बैलेंस जरूरी है। पंजाब में अगले साल की शुरुआत में विधानसभा चुनाव होने हैं। माना जा रहा है कि सीएम अमरिंदर सिंह, मौजूदा प्रदेश अध्यक्ष सुनील जाखड़ की जगह इसी वजह से मनीष तिवारी को पार्टी की कमान देना चाहते हैं, क्योंकि वो हिंदू हैं। कैप्टन खेमे का मानना है मुख्यमंत्री और सिद्धू दोनों जाट सिख हो जाएंगे तो इससे चुनावों में पार्टी को दिक्कत हो सकती है।

सिद्धू के मंसूबे को कुंद कर रहे हैं तिवारी ?

सिद्धू के मंसूबे को कुंद कर रहे हैं तिवारी ?

तिवारी का ये ट्वीट नवजोत सिंह सिद्धू के सोनिया और राहुल गांधी की आज हुई मुलाकात से ठीक पहले आया है, जिनके बारे में कल कहा जा रहा था कि पार्टी नेतृत्व उन्हें चुनाव से पहले संगठन की जिम्मेदारी सौंपने के लिए तैयार हो गया है। तिवारी ने किसी कोजवाब में एक रिट्वीट भी किया है, जिसमें उन्होंने लिखा है कि 'मेरे परिवार ने पंजाब की बहुलवादी प्रकृति को बचाए रखने, पंजाब, पंजाबी, पंजाबीयत के लिए खुद का बलिदान किया है।.....पंजाब अपने सामाजिक संतुलन को बरकरार रखने के लिए हमेशा आगे रहा है। एक जाट सिख मां और एक हिंदू पिता के घर पैदा हुआ मैं, इसे बहुत अच्छी तरह समझता हूं। '

'सोनिया गांधी करेंगी फैसला'

'सोनिया गांधी करेंगी फैसला'

माना जा रहा है कि मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह के विरोध के चलते ही पंजाब में सिद्धू के प्रदेश अध्यक्ष बनने का रास्ता साफ नहीं हो पा रहा है। आज सिद्धू ने जब सोनिया और राहुल से दिल्ली में मुलाकात की तो उनको लेकर कोई बड़ी घोषणा की संभावना नजर आ रही थी। लेकिन, पंजाब में पार्टी के इंचार्ज हरीश रावत जो उस बैठक में मौजूद थे, उन्होंने बाद में मीडिया से कहा कि उन्होंने 'कभी नहीं' कहा है कि नवजोत सिंह सिद्धू पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष बनेंगे। आज उन्होंने कहा कि 'एकबार सोनिया गांधी फैसला कर लेंगी, हम आपको बता देंगे।' जबकि, एक दिन पहले यही पंजाब में पार्टी के आंतरिक विवाद का हल निकल जाने की बात कह रहे थे।

दोनों ओर से हो रही है जबर्दस्त खेमेबाजी

दोनों ओर से हो रही है जबर्दस्त खेमेबाजी

दरअसल, कांग्रेस प्रदेश चुनाव से पहले मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह और पूर्व कैबिनेट मंत्री नवजोत सिंह सिद्धू के बीच एक फॉर्मूला निकालने की कोशिश में जुटी हुई है, जिसके लिए दोनों राजी हों। लेकिन, हर बार यह कोई नए विवाद में घिर जाता है। मंगलवार को अध्यक्ष बनाए जाने की चर्चा के बीच सिद्धू ने पंजाब के कुछ कैबिनेट मंत्रियों और विधायकों के साथ एक मंत्री के घर पर मुलाकात की थी। उन्होंने उन सबका समर्थन मांगा था। दूसरी तरफ कैप्टन ने भी अपने समर्थकों और विधायकों के साथ बैठक की थी और जानकारी के मुताबिक उन्होंने सिद्धू को अध्यक्ष बनाने की चर्चा पर आलाकमान से भी बात की और नाखुशी जताई।

इसे भी पढ़ें- महाराष्ट्र: भ्रष्टाचार मामले में अनिल देशमुख पर ED की बड़ी कार्रवाई, कुर्क की करोड़ों की संपत्तिइसे भी पढ़ें- महाराष्ट्र: भ्रष्टाचार मामले में अनिल देशमुख पर ED की बड़ी कार्रवाई, कुर्क की करोड़ों की संपत्ति

सिद्धू की पूरी होगी मांग या कैप्टन पड़ेंगे हाई कमान पर भारी ?

सिद्धू की पूरी होगी मांग या कैप्टन पड़ेंगे हाई कमान पर भारी ?

इससे पहले कैप्टन पिछले हफ्ते सोनिया गांधी से मिल चुके हैं। उन्होंने कहा था कि कांग्रेस हाई कमान का जो भी फैसला होगा, वो उसे स्वीकार करेंगे। बता दें कि पंजाब में सीएम अमरिंदर और सिद्धू के बीच तकरार 2017 के चुनाव के बाद से ही है। भाजपा छोड़कर कांग्रेस में आने के बाद से ही सिद्धू अपने लिए कुछ बड़ा ओहदा चाह रहे हैं, लेकिन कैप्टन के पार्टी में दबदबे की वजह से अबतक की उनकी सारी कोशिशें नाकाम रही है। जबकि, उन्हें राहुल गांधी और उनकी बहन प्रियंका गांधी वाड्रा का भी पूरा आशीर्वाद प्राप्त है।

Comments
English summary
Congress MP from Punjab Manish Tewari gave demographic data, efforts to make Navjot Singh Sidhu as state president may face setback
देश-दुनिया की ताज़ा ख़बरों से अपडेट रहने के लिए Oneindia Hindi के फेसबुक पेज को लाइक करें
For Daily Alerts
तुरंत पाएं न्यूज अपडेट
Enable
x
Notification Settings X
Time Settings
Done
Clear Notification X
Do you want to clear all the notifications from your inbox?
Settings X
X