मोदी सरकार के बजट को भारतीय मजदूर संघ ने खारिज किया, देशभर में विरोध प्रदर्शन का एलान
बीएमएस के अध्यक्ष सजी नारायणन ने कहा कि केंद्र सरकार के बजट में यूं तो किसानों और इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए कई घोषणाएं की गई है लेकिन मजदूरों के बारे में कोई घोषणा नहीं की गई जिससे उन्हें निराशा मिली है।
नई दिल्ली। वित्त मंत्री अरुण जेटली द्वारा पेश किए गए बजट को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनकी सरकार आर्थिक प्रगति वाला बजट बता रही है लेकिन लेकिन चुनावी साल से एक वर्ष पहले के इस अहम बजट को आरएसएस से जुड़ी एक संस्था ने खारिज कर दिया है। भारत के सबसे बड़े मजदूर संगठनों में से एक भारतीय मजदूर संघ (BMS) ने इस बजट को निराशाजनक कहा है। बीएमएस ने कहा है कि सरकार ने बजट में मजदूरों के हित में कोई घोषणा नहीं की है जिससे उन्हें निराशा मिली है। इसके अलावा वेतनभोगियों के लिए यह बजट अच्छा नहीं कहा जा सकता। बीएमएस शुक्रवार को देशव्यापी विरोध प्रदर्शन करेगी।
भारतीय मजदूर संघ करेगा प्रदर्शन
बीएमएस के अध्यक्ष सजी नारायणन ने कहा कि केंद्र सरकार के बजट में यूं तो किसानों और इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए कई घोषणाएं की गई है लेकिन मजदूरों के बारे में कोई घोषणा नहीं की गई जिससे उन्हें निराशा मिली है। इस बजट को मजदूरों के लिए बेहतर नहीं कहा जा सकता। सरकार ने आंगनवाडी कार्यकर्ताओं के लिए भी कोई राहत नहीं दी। इसके अलावा वेतनभोगियों के लिए कोई राहत बजट दिखाई नहीं देती।
अरुण जेटली से की थी मुलाकात
आपको बता दें कि भारतीय मजदूर संघ ने पिछले साल नवंबर महीने में वित्त मंत्री से मुलाकात की थी और करमुक्त आय को 5 लाख रुपये तक करने की मांग की थी यही नहीं संगठन ने न्यूनत्तम मासिक पेंशन 3 हजार रुपये करने की मांग की थी
बजट से निराश भारतीय मजदूर संघ
भारतीय मजदूर संघ की ओर से कहा गया है कि वह इस बजट से निराश है और इसके विरोध में शुक्रवार को पूरे देश में विरोध प्रदर्शन करेगा. आरएसएस के इस संगठन ने ही नहीं बल्कि केंद्र सरकार में साझीदार शिवसेना ने इस पूरे बजट को चुनावी बजट बताया है।
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