कोटखाई गैंगरेप-मर्डर केस के आरोपी ने कबूला जुर्म, क्राइम सीन पर लेकर पहुंची सीबीआई
शिमला। हिमाचल प्रदेश के बहुचर्चित कोटखाई गैंगरेप मर्डर केस में सीबीआई की ओर से गिरफ्तार किए गए आरोपी को आज जांच एजेंसी मौका-ए-वारदात की निशानदेही के लिए आरोपी को दिल्ली से लेकर आई है। इस एक्टिविटी के बाद कोटखाई मामले में एक बार फिर तनाव का महौल महसूस किया जा रहा है। दांदी के जंगलों में क्राइम सीन पर आरोपी की मौजूदगी के चलते भारी सुरक्षा बंदोबस्त किए गए हैं।
आरोपी की पहचान उजागर नहीं की गई है
आरोपी की पहचान अभी उजागर नहीं की गई है व उसे कड़े सुरक्षा घेरे में दांदी के जंगलों में पहुंचाया गया है। मामले की संवेदनशीलता को देखते हुए कोटखाई और आसपास में मौके पर भारी पुलिस तैनात की गई है और शिमला पुलिस अलर्ट पर है। सुरक्षा व्यवस्था के लिए एएसपी मनमोहन सिंह खुद मौके पर मौजूद हैं। उनके साथ डीएएसपी बलवीर जसवाल भी हैं। वहीं सीबीआई के साथ फोरेंसिक एक्सपर्ट की टीम भी मौके पर मौजूद है। सीबीआई आरोपी को गुपचुप आज दिल्ली से शिमला लेकर आई व उसका पहले शिमला में ही आईजीएमसी में मेडिकल करवाया और उसके बाद उसे दांदी के जंगलों में ले जाया गया।
जानकारी के बाद बड़ी संख्या में पहुंचे ग्रामीण
बताया जा रहा है कि ओरोपी को कोटखाई लाने की सूचना पर बड़ी संख्या भी मौके पर ग्रामीण पहुंचे हैं। ग्रामीण सीबीआई के अधिकारियों से मिलना चाहते थे, हालांकि अधिकारियों ने उनसे मिलने से इनकार कर दिया है। सूत्रों ने बताया कि सीबीआई की पूछताछ में आरोपी ने इस घटना को अंजाम देने की बात कबूल ली है। उसके बाद मौका ए वारदात की शिनाख्त की जा रही है। सीबीआई की टीम आरोपी को वहां भी लेकर गई है जहां पीडि़ता का शव मिला था। हलाइला में दांदी जंगल के अलावा एक मंदिर में निशानदेही कराई गई है। सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक सीबीआई द्वारा गिरफ्तार आरोपी मंडी का रहने वाला है। आरोपी का नाम नीलू है जो प्रकरण के बाद से गायब चल रहा था। जांच एजेंसी को दो दिन बाद 25 अप्रैल को हिमाचल हाईकोर्ट में अपनी स्टेटस रिर्पोट सौंपनी है। जिसके चलते यहां गतिविधियां तेज हुई हैं।
ये है मामला
गत 4 जुलाई 2017 को कोटखाई की एक छात्रा स्कूल से लौटते वक्त लापता हो गई थी। इसके बाद 6 जुलाई को कोटखाई के जंगल में बिना कपड़ों के पीडि़ता की लाश मिली थी। छात्रा की गैंगरेप के बाद हत्या कर दी गई थी। मामले में छह आरोपी पकड़े गए थे। इनमें राजेंद्र सिंह उर्फ राजू, हलाइला गांव, सुभाष बिस्ट (42) गढ़वाल, सूरज सिंह (29) और लोकजन उर्फ छोटू (19) नेपाल और दीपक (38) पौड़ी गढ़वाल के कोटद्वार से है। इनमें से सूरज की कोटखाई थाने में 18 जुलाई की रात को हत्या कर दी गई थी। आरोप है कि राजू की सूरज से बहस हुई और उसके बाद राजू ने उसकी हत्या कर दी थी। सीबीआई ने इन दोनों मामलों में केस दर्ज किया है।
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