नक्सलवाद पर बनी फिल्म का विरोध, 50 गिरफ्तार
पुलिस उपायुक्त एच.के. लाल ने आईएएनएस को बताया, "पोस्टर फाड़ने, दर्शकों को सिनेमा हॉल के अंदर जाने से रोकने और फिल्म के प्रदर्शन में बाधा डालने के बाद कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर लिया गया।"
उन्होंने बताया कि प्रदर्शनकारियों की गिरफ्तारी के बाद फिल्म का प्रदर्शन दोबारा शुरू हो गया।
एक पुलिस अधिकारी ने बताया, "इसके बाद भाजपा कार्यकर्ता ने पोस्टर जलाने लगे और उन्होंने फिल्म के प्रदर्शन के विरोध में अन्य क्षेत्रों में रैलियां निकालीं। उनका आरोप था कि यह फिल्म नक्सलवाद की विचारधारा का महिमामंडन करती है।"
भाजपा की युवा शाखा के अध्यक्ष बिभूती जेना ने पत्रकारों से कहा, "हम फिल्म पर प्रतिबंध चाहते हैं क्योंकि हमें लगता है कि इससे राष्ट्र-विरोधी गतिविधियों को बढ़ावा मिलेगा।"
वैसे फिल्म के निर्माता प्रभात रंजन मलिक ने आरोपों को नकारते हुए कहा है कि यह फिल्म तथाकथित नक्सलियों को मुख्यधारा में लाने की एक कोशिश है।
लोकसभा में बीजू जनता दल (बीजद) के एक सदस्य सिद्धांत महपात्र ने फिल्म में नक्सली नेता की भूमिका निभाई है। महपात्र ने 100 से ज्यादा फिल्मों में अभिनय किया है और उनमें से ज्यादातर उड़िया फिल्में हैं। उनके इस साल लोकसभा में प्रवेश के बाद प्रदर्शित हुई 'स्वयंसिद्ध' पहली फिल्म है।
लोकसभा में बीजद के एक और सदस्य प्रसन्ना पत्सानी ने भी एक विशेष भूमिका निभाई है।
जेना का कहना है कि महपात्र के फिल्म में अभिनय करने का मतलब नक्सलवाद को न्यायसंगत ठहराना और उसका महिमामंडन करना है।
इंडो-एशियन न्यूज सर्विस।