अब हरियाणा में ही वैक्सीन बनवाने की तैयारी, कोरोना मरीज घटते रहे तो लॉकडाउन में छूट भी मिल सकती है
चंडीगढ़। हरियाणा के उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला का कहना है कि, अब प्रदेश में ही कोरोना वैक्सीन बनाई जा सकती है। उन्होंने कहा, ''सीरम संस्थान, भारत बायोटेक व डॉ. रेड्डी इंस्टीट्यूट से कोविड वैक्सीन प्रदेश में ही बनवाने के प्रयास जारी हैं।' उपमुख्यमंत्री के अनुसार, हरियाणा सरकार हर नागरिक के टीकाकरण के लिए कोविड वैक्सीन का उत्पादन प्रदेश में ही कराने की तैयारी कर रही है।
बुधवार को चंडीगढ़ में एक प्रेस वार्ता में डिप्टी सीएम ने कहा कि, कोविशील्ड, कोवाक्सीन व स्पूतनिक बनाने वाली कंपनियों से सरकार की बात चल रही है। उन्होंने कहा कि लॉकडाउन के अगले चरण में छूट दी जा सकती हैं। इसे लेकर एसोचैम व अन्य संस्थाओं से चर्चा की जा रही है। कोरोना केस ऐसे ही घटते रहे तो छूट संभव है। दुष्यंत ने कहा कि पंजाब, दिल्ली व राजस्थान से हरियाणा में शराब तस्करी हो रही है। प्रदेश में तो सभी ठेके बंद हैं। डिस्टलरीज व गोदाम का पूरा रिकॉर्ड विभाग के पास उपलब्ध है। इस बार भी आबकारी वर्ष आगे बढ़ेगा, लॉकडाउन के दिन जीरो डे माने जाएंगे। 19 मई को 2020-21 आबकारी वर्ष खत्म हो रहा था। उन्होंने कहा कि कोविड में डीजल बिक्री 27 फीसदी व पेट्रोल की 30 फीसदी गिरी है।
दुष्यंत ने कहा कि सरकार चक्रवात को लेकर निर्देशिका जारी करने जा रही है। चक्रवात का प्रभाव हरियाणा की तरफ भी बढ़ रहा है। मौसम विभाग ने बताया है कि 50 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार से हरियाणा के अलग-अलग इलाको में हवाएं चल सकती हैं। इसलिए लोगों से अपील है कि 48 घंटे घरों में ही सुरक्षित रहें।
ये
जानकारी
भी
दी
एक
अप्रैल
से
फसल
खरीद
शुरू
हुई
थी।
इस
बार
85
लाख
मीट्रिक
टन
आवक
हुई।
82
लाख
मीट्रिक
टन
फसल
गोदाम
तक
पहुंचा
दी
है।
गेहूं
खरीद
की
लगभग
16
हजार
करोड़
की
अदायगी
4
विभागों
ने
की
है।
समय
पर
गेहूं
उठान
की
बदौलत
नमी
की
दिक्कत
नहीं
आई
पिछली
बार
सरकार
ने
4600
रुपये
के
हिसाब
से
7
लाख
मीट्रिक
टन
सरसों
की
खरीद
की
थी।
इस
बार
एक
भी
दाना
नहीं
खरीदना
पड़ा।
इस
बार
4650
रुपये
प्रति
क्विंटल
की
जगह
7200
रुपये
प्रति
क्विंटल
के
हिसाब
से
किसान
ने
अपनी
सरसों
एजेंसियों
को
बेची।
1
जून
से
सूरजमुखी
की
खरीद
की
शुरू
करने
जा
रहे
हैं।
इस
बार
सूरजमुखी
की
5888
रुपये
प्रति
क्विंटल
एमएसपी
पर
खरीद
करेंगे।
ग्रामीण
क्षेत्र
में
10000
से
कम
आबादी
की
पंचायतों
को
18.5
करोड़
रुपये
और
10000
से
ज्यादा
आबादी
वाली
पंचायतों
को
5
करोड़
रुपये
आइसोलेशन
सेंटर
बनाने
के
लिए
दिए।