Black Fungus Infection: योगी सरकार ने ब्लैक फंगस को लेकर जारी की एडवाइजरी, जानिए क्या बरतें सावधानियां
Black Fungus Infection: योगी सरकार ने ब्लैक फंगस को लेकर जारी की एडवाइजरी, जानिए क्या बरतें सावधानियां
लखनऊ, मई 15: कोरोना वायरस संक्रमण की दूसरी लहर के बीच देश में एक नई जानलेवा बीमारी ने संकट को और बढ़ा दिया है। कोरोना संक्रमित मरीजों को ब्लैक फंगस (म्यूकरमाइकोसिस) नाम की बीमारी हो रही है, जिसमें कई लोग अपनी आंखों की रोशनी गवा बैठे हैं। तो वहीं, अब ब्लैक फंगस के बढ़ते मामलों को देखते हुए योगी सरकार ने लोगों के लिए एडवाइजरी जारी की है।
सरकार द्वारा जारी कि गई एडवाइजरी में बताया गया है कि किसे इस बीमारी से ज्यादा खतरा है। अगर ब्लैक फंगस के लक्षण दिखते है तो तुरंत डॉक्टर की सलाह लेना जरूरी है। साथ ही कहा है कि अगर किसी में इसके लक्षण पाए जाते हैं तो क्या करें और क्या क्या अन्य सावधानियां बरतने की जरूरत है।
जानिए
किसे
हो
सकता
है
ब्लैक
फंगस?
-
कोविड
के
दौरान
जिन्हें
स्टेरॉयड
दवाएं
दी
गई
हों।
जिन्हें
डेक्सामिथाजोन,
मिथाइल,
प्रेडनिसोलोन
आदि
दी
गई
हों।
-
कोविड
मरीज
को
ऑक्सिजन
पर
रखना
पड़ा
हो
या
आईसीयू
में
रखना
पड़ा
हो।
-
कैंसर,
किडनी,
ट्रांसप्लांट
आदि
की
दवाएं
चल
रही
हों।
ब्लैक
फंगस
के
लक्षण
-
बुखार
आ
रहा
हो,
सर
दर्द
हो
रहा
हो,
खांसी
हो
या
सांस
फूल
रही
हो।
-
नाक
बंद
हो।
नाक
में
म्यूकस
के
साथ
खून
आ
रहा
हो।
-
आंख
में
दर्द
हो।
आंख
फूल
जाए,
दो
दिख
रहा
हो
या
दिखना
बंद
हो
जाए।
-
चेहरे
में
एक
तरफ
दर्द
हो,
सूजन
हो
या
सुन्न
हो।
-
दांत
में
दर्द
हो,
दांत
हिलने
लगें,
चबानी
में
दर्द
हो।
-
उल्टी
में
या
खांसने
पर
बलगम
में
खून
आए।
क्या
करें
ब्लैक
फंगस
के
कोई
लक्षण
नर
आए
तो
तत्काल
सरकारी
अस्पताल
में
या
किसी
अन्य
विशेषज्ञ
डॉक्टर
को
दिखाएं।
नाक,
कान,
गले,
आंख,
मेडिसिन,
चिस्ट
या
प्लास्टिक
सर्जन
विशेषज्ञ
को
तुरंत
दिखाएं
ताकि
जल्दी
इलाज
शुरू
हो
सके।
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ये
बरते
सावधानियां
-
खुद
या
किसी
गैर
विशेषज्ञ
डॉक्टर
के,
दोस्त,
मित्रों,
रिश्तेदारों
के
कहने
पर
स्टेरॉयड
दवा
कतई
शुरू
न
करें।
-
लक्षण
के
पहले
5
से
7
दिनों
में
स्टेरॉयड
देने
के
दुष्परिणाम
हो
सकते
हैं।
बीमारी
शुरू
होते
स्टेरॉयड
शुरू
न
करें।
इससे
बीमारी
बढ़
सकती
है।
-
स्टेरॉयड
का
प्रयोग
विशेषज्ञ
डॉक्टर,
कुछ
ही
मरीजों
को
केवल
5
से
10
दिनों
के
लिए
देते
हैं,
वह
भी
बीमारी
शुरू
होने
के
5
से
7
दिनों
बाद,
केवल
गंभीर
मरीजों
को।
इससे
पहले
बहुत
सी
जांचें
होना
जरूरी
हैं।
-
इलाज
शुरू
होने
पर
डॉक्टर
से
पूछें
की
इन
दवाओं
में
स्टेरॉयड
तो
नहीं
है,
अगर
है
तो
ये
दवाएं
मुझे
क्यों
दी
जा
रही
हैं।
-
स्टेरॉयड
शुरू
होने
पर
विशेषज्ञ
डॉक्टर
के
नियमित
संपर्क
में
रहें।
-
घर
पर
अगर
ऑक्सिजन
लगाया
जा
रहा
है
तो
उसकी
बोतल
में
उबालकर
ठंडा
किया
हुआ
पानी
डालें
या
नॉर्मल
सलाइन
डालें
बेहतर
हो
अस्पताल
में
भर्ती
हों।