'कंगाल' पाकिस्तान की मिलिट्री ने इमरान सरकार से की सैलरी में 20 प्रतिशत हाइक की मांग
इस्लामाबाद। पहले से आर्थिक तंगी से जूझते पाकिस्तान की हालत कोरोना महामारी संकट में और खराब हो गई है। लेकिन इस संकट के बीच ही पाकिस्तान की मिलिट्री ने सैलरी में 20 प्रतिशत इजाफे की मांग की है। पाकिस्तान मिलिट्री ने सरकार से 60 अरब रुपए से भी ज्यादा मांगे हैं ताकि सेना, वायुसेना और नौसेना के सैनिकों की तनख्वाह बढ़ाई जा सके। मिलिट्री की तरफ से यह मांग ऐसे समय में रखी गई है जब प्रधानमंत्री इमरान खान की सरकार ने पहले ही सैलरी में कटौती के अलावा दूसरे सख्त कदमों का ऐलान किया है।
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क्यों जरूरी है सैलरी में इजाफा
आठ मई को पाकिस्तान के रक्षा मंत्रालय की तरफ से अपने वित्तीय विभाग को एक ज्ञापन सौंपा गया है। इसमें कहा गया है कि साल 2020-2021 की सैलरी में बढ़ोतरी की जरूरत है क्योकि कई ऐसी वजहें हैं जिन्होंने वित्तीय स्थ्िाति को प्रभावित किया है और सशस्त्र बलों के जवानों की आजीविका पर असर डाला है। ज्ञापन में कहा गया है कि ज्वॉइन्ट स्टाफ हेडक्वार्टर्स और तीनों सेनाओं के मुख्यालयों का मानना है कि सरकारी कर्मियों जिसमें मिलिट्री पर्सनल भी शामिल हैं, उन पर पाकिस्तानी रुपए के अवमूल्यन की वजह से कीमतों में हुई बढ़ोतरी का खासा असर पड़ा है। इसकी वजह से यूटिलिटी बिल और महंगाई में भी इजाफा हुआ है।
बढ़ी सैलरी पर इनकम टैक्स की मार
इस ज्ञापन में यह भी कहा गया है कि वर्तमान वित्त वर्ष में ब्रिगेडियर रैंक और इस रैंक के ऊपर के ऑफिसर्स की सैलरी पांच प्रतिशत बढ़ाई गई थी। जबकि जूनियर कमीशंड ऑफिसर्स और सैनिकों को उनकी बेसिक सैलरी पर 10 प्रतिशत का एडहॉक दिया गया था। इसके अलावा जनरल ऑफिसर्स की सैलरी वैसी की वैसी ही थी और इसमें किसी तरह का कोई इजाफा नहीं हुआ था। जबकि ऑफिसर्स को जो एडहॉक की सहायता दी गई थी उस पर भी इनकम टैक्स की मार पड़ गई। ऐसे में उनकी सैलरी कम हो गई।
मिलिट्री ने बताया कैसे बढ़ सकेगी तनख्वाह
ज्ञापन के मुताबिक इन परिस्थितियों में वित्तीय स्थिति पर खासा असर पड़ा है। ज्ञापन में कहा गया है कि पे बढ़ाने के कदम को ज्वॉइन्ट चीफ्स ऑफ स्टाफ कमेटी के चेयरमैन की तरफ से मंजूरी दी गई है और इसे वित्त मंत्रालय के पास भेज दिया गया है। ज्ञापन के मुताबिक साल 2016-19 में एडहॉक के जरिए जो सहायता दी गई है उसे साल 2017 की बेसिक पे में मर्ज किया जा सकता है। इसके बाद सैलरी में अपने आप ही साल 2020-2021 की सैलरी में 20 प्रतिशत का इजाफा हो सकता है।
पिछले वर्ष भी कटी थी मिलिट्री की सैलरी
पिछले वर्ष पाकिस्तान मिलिट्री ने स्वेच्छा से अपनी सैलरी में कटौती के लिए हामी भी भरी थी। बताया जा रहा है कि पाकिस्तान मिलिट्री ने यह कदम देश की नाजुक हालत को देखते हुए लिया था। साथ ही रक्षा बजट में भी कोई इजाफा नहीं हुआ था। इसमें पेंशन को शामिल नहीं किया गया था जिसके लिए सरकार की तरफ से 260 अरब रुपए तय किए गए थे। पाकिस्तान की सरकार ने साल 2019-2020 के लिए रक्षा बजट 7.6 बिलियन डॉलर तय किया था और साल 2018 के रक्षा बजट के मुकाबले इसमें 1.3 प्रतिशत का इजाफा हुआ था।