महाराष्ट्र न्यूज़ के लिए
नोटिफिकेशन ऑन करें  
Oneindia App Download

'दाऊद के अलावा मुझे कुछ भी बुलाओ...', समीर वानखेड़े ने हाई कोर्ट में जमा किया जन्म और जाति प्रमाण पत्र

'दाऊद के अलावा मुझे कुछ भी बुलाओ...', समीर वानखेड़े ने हाई कोर्ट में जमा किया जन्म और जाति प्रमाण पत्र

Google Oneindia News

मुंबई, 19 नवंबर: नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) के जोनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े बनाम एनसीपी नेता नवाब मलिक के मामले में हर दिन नए खुलासे हो रहे हैं। गुरुवार (18 नवंबर) को बॉम्बे हाईकोर्ट में सुनवाई के दौरान समीर वानखेड़े के वकीलों ने नवाब मलिक के खिलाफ वानखेड़े के पिता द्वारा दायर मानहानि के मुकदमे के संबंध में जन्म और जाति प्रमाण पत्र जैसे दस्तावेज सौंपे। समीर वानखेड़े के वकील अरशद शेख ने कोर्ट में काफी तीखी टिप्पणी की है। समीर वानखेड़े के पिता के समर्थन में बोलेते हुए वकील अरशद शेख ने कहा, '' आप मुझे और किसी भी नाम से बुला लीजिए लेकिन दाऊद नहीं....।'' समीर के वकील ने ये बयान इसलिए दिया क्योंकि में नवाब मलिक की टीम की तरफ से कई ऐसे कोर्ट में दस्तावेज दिखाए गए हैं, जिसके आधार पर दावा किया गया कि समीर वानखेड़े एक मुस्लिम हैं और उन्होंने खुद को अनुसूचित जाति का बताकर नौकरी ली है।

इन दस्तावेजों के आधार पर नवाब मलिक बोले- समीर वानखेड़े मुस्लिम हैं

इन दस्तावेजों के आधार पर नवाब मलिक बोले- समीर वानखेड़े मुस्लिम हैं

गुरुवार को नवाब मलिक ने अपने वकील अतुल दामले और कुणाल दामले के जरिए जस्टिस माधव जामदार की बेंच को तीन दस्तावेज सौंपे। उनमें से एक दस्तावेज वो था, जिसमें बृहन्मुंबई नगर निगम (बीएमसी) के जन स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा समीर वानखेड़े के पिता का नाम बदला गया था। दूसरा, दस्तावेज स्कूल छोड़ने का प्रमाण पत्र था। वहीं तीसरा सेंट जोसेफ हाई स्कूल का एडमिशन फॉर्म था। अब इन्ही दस्तावेजों के आधार पर समीर वानखेड़े का नाम समीर दाऊद वानखेड़े बताया जा रहा है।

महाराष्ट्र सरकार में कैबिनेट स्तर के मंत्री नवाब मलिक ने समीर वानखेड़े पर आरोप लगाते हुए कहा है कि यूपीएससी परीक्षा पास करने के बाद कोटा के तहत नौकरी पाने के लिए इन लोगों ने नकली जाति प्रमाण पत्र प्रस्तुत किया था। समीर वानखेड़े हिंदू अनुसूचित जाति वर्ग से संबंधित नहीं हैं।

Recommended Video

Cruize Drug Case से हटाए गए Sameer Wankhede, Kranti Redkar ने पति के लिए लिखा मैसेज | वनइंडिया हिंदी
समीर वानखेड़े के वकील ने नवाब मलिक पर साधा निशाना

समीर वानखेड़े के वकील ने नवाब मलिक पर साधा निशाना

समीर वानखेड़े का प्रतिनिधित्व करने वाले अधिवक्ता अरशद शेख और दिवाकर राय ने भी अदालत को दो दस्तावेज सौंपे। जिसमें बीएमसी द्वारा जारी डिजीटल जन्म प्रमाण पत्र और वानखेड़े के पिता ज्ञानदेव वानखेड़े का जाति प्रमाण पत्र शामिल है।

अधिवक्ता अरशद शेख ने तर्क दिया कि नवाब मलिक के ट्वीट करने के बाद मलिक जिन दस्तावेजों पर भरोसा कर रहे थे, उन्हें बीएमसी से निकाल लिया गया था। तो नवाब मलिक को ट्वीट करने से पहले जो करना चाहिए था, वह ट्वीट करने के बाद कर रहे हैं। शेख ने आरोप लगाया कि नवाब मलिक बीएमसी को एक पत्र लिखते हैं और "आश्चर्यजनक रूप से, बीएमसी ने उन्हें दो दिनों में अपनी आधिकारिक क्षमता के मुताबिक सारे दस्तावेज दे देती है।

ये भी पढ़ें- कंडोम के एड से लेकर पूर्व राष्ट्रपति कलाम का मजाक उड़ाने तक, इन 5 विवादों में पहले भी घिर चुके हैं वीर दासये भी पढ़ें- कंडोम के एड से लेकर पूर्व राष्ट्रपति कलाम का मजाक उड़ाने तक, इन 5 विवादों में पहले भी घिर चुके हैं वीर दास

'समीर के पिता का नाम ज्ञानदेव है, दाऊद कहकर संबोधित ना कीजिए'

'समीर के पिता का नाम ज्ञानदेव है, दाऊद कहकर संबोधित ना कीजिए'

समीर वानखड़े की लीगल टीम ने दावा किया है कि समीर वानखेड़े के पिता ने काफी पहले ही बेटे का नाम बदल दिया था। उन्होंने यह भी कहा, ''समीर के पिता का नाम ज्ञानदेव है इसलिए उन्हे किसी भी कीमत पर दाऊद कहकर संबोधित नहीं किया जाना चाहिए।''

बीएमसी के ई-वार्ड के स्वास्थ्य अधिकारी के पत्र में समीर वानखेड़े के जन्म का पूरा विवरण था, जिससे पता चलता है कि 1979 में ज्ञानदेव का नाम दाऊद के वानखेड़े था और 1993 में ही सब-रजिस्ट्रार ने उनका नाम ज्ञानदेव किया था।

Comments
English summary
'Call me anything but Not Dawood': Sameer Wankhede submits birth, caste certificates to high court
देश-दुनिया की ताज़ा ख़बरों से अपडेट रहने के लिए Oneindia Hindi के फेसबुक पेज को लाइक करें
For Daily Alerts
तुरंत पाएं न्यूज अपडेट
Enable
x
Notification Settings X
Time Settings
Done
Clear Notification X
Do you want to clear all the notifications from your inbox?
Settings X
X