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'भाई' पाक के लिए नियम तोड़ता चीन और खामोश एनएसजी मेंबर्स

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बीजिंग। अप्रैल 2014 में चीन के राष्‍ट्रपति शी जिनपिंग पाकिस्‍तान के दौरे पर गए थे और यहां पर उन्‍होंने कहा था कि पाकिस्‍तान उनके लिए उनके छोटे भाई के जैसा है। लगता है चीन ने तय कर लिया है कि वह अपने इस 'भाई' की मदद करने के लिए हर नियम को ताक पर रखेगा। चीन जो कि न्‍यूक्लियर सप्‍लायर्स ग्रुप यानी एनएसजी का मेंबर है, समय पाकिस्‍तान को न्‍यूक्लियर रिएक्‍टर्स की सप्‍लाई कर रहा है।

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क्‍या किया चीन ने

आपको बता दें कि भारत की एनएसजी में होने वाली एंट्री में अड़ंगा चीन ने ही डाला था। पाक का हवाला देकर भारत के रास्‍ते में रुकावट पैदा करने वाला चीन अब खुद नियमों को तोड़ने से गुरेज नहीं कर रहा है। अमेरिकी राजधानी वाशिंगटन स्थित थिंक टैंक आर्म्स कंट्रोल एसोसिएशन ने चीन की ओर से पाक को परमाणु रिएक्‍टर्स बेचे जाने का दावा किया है।

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पाक भी एनएसजी का ख्‍वाहिशमंद

भारत की ही तरह पाक भी एनएसजी में शामिल होना चाहता है। चीन ने कहा था कि एनएसजी के लिए जो नियम भारत के लिए तोड़े जाएंगे फिर उन्‍हीं नियमों को पाक के लिए भी तोड़ना होगा। इस रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि चीन परमाणु हथियारों के निर्यात को नियंत्रित करने में पूरी तरह से फेल साबित हुआ है।

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क्‍या है नियम

वर्ष 2010 में एनपीटी पर एक रिव्‍यू काफ्रेंस हुर्इ थी जो कि न्‍यूक्लियर टेक्‍नोलॉजी के ट्रांसफर पर ही आधारित थी। इस कांफ्रेंस में यह तय हुआ था कि न्‍यूक्लियर टेक्‍नोलॉजी और मैटेरियल को सिर्फ उन देशों को ही निर्यात किया जाएगा जो इंटरनेशनल एटॉमिक एनर्जी एजेंसी यानी आईएइए में मौजूद सुरक्षा संबंधी सभी नियमों को पूरा करते हैं। लेकिन पाक न तो आईएइए के मानकों पर खरा उतरता है और न ही उसने एनपीटी को साइन किया हुआ है।

चश्‍मा रिएक्टर्स को मिल रही टेक्‍नोलॉजी

इस थिंक टैंक की रिपोर्ट के मुताबिक चीन, पाक के साथ वर्ष 2013 में हुई एक डील के तहत पाक के चश्‍मा-3 रिएक्‍टर्स को मैटेरियल सप्‍लाई कर रहा है। चीन का यह कदम 2010 एनपीटी रिव्‍यू के एकदम उलट है।

चीन ने भारत की एंट्री को यह कहकर बैन कर दिया था कि भारत एनपीटी का सदस्‍य नहीं है और ऐसे में उसे एनएसजी की सदस्‍यता नहीं मिल सकती है।

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खामोश एनएसजी मेंबर्स

चीन को वर्ष 2004 में एनएसजी की सदस्‍यता मिली थी और वर्ष 2003 से ही चीन चश्‍मा स्थित पाक के छह न्‍यूक्लियर रिएक्‍टर्स को टेक्‍नोलॉजी देता आ रहा है।

हैरानी की बात है कि इस दोगले रवैये पर एनएसजी के वे सभी मेंबर्स खामोश है जो भारत की एंट्री पर हाय-तौबा मचा रहे थे।

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English summary
China is supplying nuclear reactors to Pakistan and has violated the consensus arrived at the 2010 NPT review conference on supply of nuclear technology by transferring nuclear reactors.
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