जंतर-मंतर पर धरने पर रोक मामले में सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली पुलिस को भेजा नोटिस
दरअसल पंजाब से आई एक रेप पीड़िता ने आरोप लगाया गया है कि रामलीला मैदान में प्रदर्शन के लिए 1 लाख 20 हजार रुपये किराया मांगा गया है।
नई दिल्ली। दिल्ली के जंतर-मंतर पर धरना और प्रदर्शन पर रोक के मामले में सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली पुलिस, एनडीएमसी और नई दिल्ली म्यूनिसिपल काउंसिल को को नोटिस जारी कर दो हफ्ते के अंदर जवाब देने को कहा है। नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (एनजीटी) के जंतर-मंतर पर धरने प्रदर्शन बैन करने के आदेश के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की गई है जिस पर सुनवाई के बाद सुप्रीम कोर्ट ने नोटिस जारी किया है।
दरअसल पंजाब से आई एक रेप पीड़िता ने आरोप लगाया गया है कि रामलीला मैदान में प्रदर्शन के लिए 1 लाख 20 हजार रुपये किराया मांगा गया है। याचिका में कहा गया है कि रामलीला मैदान में संसद से काफी दूर है और प्रदर्शन करना मौलिक अधिकार है। आपको बता दें कि प्रदूषण के चलते एनजीटी ने जंतर-मंतर पर प्रदर्शन से रोक लगा दी है। बता दें कि एनजीटी ने अपने आदेश में जंतर-मंतर पर धरने-प्रदर्शन पर प्रतिबंध लगाने का आदेश दिया था। साथ ही कहा था कि धरने-प्रदर्शन रामलीला मैदान में किए जा सकते हैं।
मजदूर किसान शक्ति संगठन ने भी सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल कर सेंट्रल दिल्ली में शांतिपूर्ण तरीके से धरना प्रदर्शन करने की इजाजत देने के की मांग की है। याचिका में कहा गया है कि अक्टूबर में एनजीटी ने जंतर मंतर पर धरना प्रदर्शन पर रोक लगा दी जबकि पूरी सेंट्रल दिल्ली में दिल्ली पुलिस की ओर से हमेशा के लिए धारा 144 लगाई गई है।एनजीटी के इस आदेश पर जंतर-मंतर पर विरोध प्रदर्शन करने आने वालों ने बड़ी आपत्ति दर्ज की थी साथ ही फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में गुहार लगाने की बात कही थी। गौरतलब है कि जंतर-मंतर पर धरने-प्रदर्शनों के शोर और अव्यवस्था फैलने को लेकर एनजीटी में सुनवाई हुई थी, जिसमें एनजीटी ने धरने-प्रदर्शन बैन करने का आदेश दिया था।
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