पंजाब सरकार ने जोधपुर जेल में बंद सिखों को पूरा मुआवजा देने का किया ऐलान
चंडीगढ़। पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने केंद्र सरकार से जून 1984 में ऑपरेशन ब्लू स्टार के बाद जोधपुर जेल में बंद किए गए सिखों को मुआवाजा राशि देने के घोषणा की। उन्होंने कहा कि, यदि केंद्र अपने हिस्से देने में विफल रहती है तो उनकी सरकार जोधपुर बंदियों को पूरा 4.5 करोड़ रूपये का मुआवजा खुद ही दे देंगे। बता दें कि सिंह ने केंद्र सरकार से 4.5 करोड़ रुपये के मुआवजे की आधी राशि का अविलंब भुगतान करने की अपील की थी।
पंजाब सीएम ने कहा, अगर केंद्र सरकार जोधपुर कैदियों को मिलने वाले मुआवजे में अपनी हिस्सा नहीं देगी तो उनकी सरकार खुद ही मुआवजे की सारी राशि का भुगतान करने के लिए तैयार है। इससे पहले पंजाब सीएम कैप्टन अमरेंदर सिंह ने केंद्र गृह सचिव राजीव गौबा के साथ फोन पर जून 1998 में अॉपरेशन ब्लू स्टार के बाद जोधपुर में कैद हुए कैदियों की बदहाली के संबध में बातचीत की थी।
पिछले साल अप्रैल में अमृतसर की जिला एवं सत्र अदालत ने इस मुआवजे का फैसला दिया था। मुआवजा केंद्र और राज्य सरकार को मिलकर देना है। केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह को लिखे एक पत्र में मुख्यमंत्री ने बताया कि अदालत ने केंद्र और राज्य सरकारों को साझा तौर पर यह मुआवजा राशि अदा करने के आदेश दिए थे।
लेकिन केंद्र सरकार ने मुआवाजा देने के विरुद्ध अपील दायर कर दी। ऑपरेशन ब्लू स्टार के मद्देनजर कुल 375 लोगों को गिरफ्तार कर जोधपुर जेल में बंद किया था, जिनको बाद में मार्च, 1989 और जुलाई, 1991 के बीच रिहा किया गया था।
इनमें से 224 नजरबंदियों ने 'गैर-कानूनी तौर पर नजरबंद करने और कष्ट देने के दोष' के अंतर्गत निचली अदालत में मुआवजे के लिए अपील दायर की थी। उनमें से 40 लोगों ने अमृतसर के जिला एवं सत्र अदालत में अपील की थी। पिछले साल अप्रैल में अदालत ने उन्हें छह प्रतिशत ब्याज के साथ 4-4 लाख रुपये मुआवजा दिये जाने का निर्देश दिया थे।