मुजफ्फरपुर शेल्टर होम केस: समाज कल्याण विभाग की पूर्व सहायक निदेशक न्यायिक हिरासत में भेजी गईं
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नई दिल्ली। मुजफ्फरपुर बालिका गृह में बच्चियों के यौन शोषण के मामले में समाज कल्याण विभाग की पूर्व सहायक निदेशक रोजी रानी और दो अन्य को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है। तीनों आरोपी 21 सितंबर से सीबीआई की रिमांड में थे। बता दें कि बिहार के मुजफ्फरपुर में शेल्टर होम में 34 लड़कियों से रेप का मामला सामने आया था।
मामले के चर्चा में आने के बाद नीतीश सरकार ने इस मामले की सीबीआई जांच की सिफारिश की थी। केंद्र की मंजूरी के बाद अब सीबीआई इस घटना की तफ्तीश कर रही है। हंगामे के बाद सरकार ने समाज कल्याण विभाग की सहायक निदेशक को निलंबित कर दिया था।
इससे पहले समाज कल्याण मंत्री मंजू वर्मा को अपने पद से इस्तीफा देना पड़ा था। इस कांड में मंजू वर्मा के पति चंद्रेश्वर वर्मा की भूमिका को लेकर लगातार सवाल उठ रहे थे। मुजफ्फरपुर शेल्टर होम केस को लेकर बिहार की नीतीश कुमार को विपक्ष के गुस्से का सामना करना पड़ा है और राजद ने तेजस्वी के नेतृत्व में बिहार के सीएम पर गंभीर आरोप लगाए थे।
तेजस्वी ने ये भी कहा था कि नीतीश कुमार आरोपियों को बचाने की कोशिश कर रहे हैं और केस को जानबूझकर कमजोर करने की कोशिश की जा रही है। वहीं, नीतीश कुमार ने इस मामले पर बयान दिया था कि दोषियों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई की जाएगी और किसी को छोड़ा नहीं जाएगा।
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