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हैदराबाद के आठवें निजाम मीर बरकत अली खान कौन थे और उनकी कितनी बीवियां थीं ? जिन्होंने तुर्की में ली अंतिम सांस

हैदराबाद के आठवें निजाम ने 89 साल की अवस्था में तुर्की में दम तोड़ दिया था। उनकी अंतिम इच्छा के अनुसार अंतिम संस्कार का इंतजाम हैदराबाद में हुआ। उन्होंने पांच शादियां की थीं। 1980 के दशक तक देश के सबसे अमीर शख्सियत थे।

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हैदराबाद के आठवें निजाम मीर बरकत अली खान की हाल ही में इस्तांबुल में मृत्यु हो गई थी। उनका जन्म आजादी से पहले हुआ था और जब हैदराबाद रियासत भारत में विधिवत शामिल हुआ तो वह किशोरावस्था में थे। तब हैदराबाद के निजाम उनके दादा मीर उस्मान अली खान हुआ करते थे, जो देश में ही नहीं दुनिया के सबसे अमीर शख्सियतों में शामिल थे। हैदराबाद रियासत के पास अकूत संपत्ति थी। जाहिर है कि रियासत तो चली गई, लेकिन संपत्ति का बड़ा हिस्सा अपने दादा के उत्तराधिकारी के तौर पर मीर बरकत अली खान के भी हाथ लगी थी। पिछले करीब एक दशक से वह तुर्की में ही रह रहे थे, जो उनका ननिहाल भी था और ससुराल भी। लेकिन, अपने बच्चों को उन्होंने हिदायत दे रखी थी कि मौत के बाद उन्हें दफनाने के लिए हैदराबाद में ही इंतजाम किया जाए।

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हैदराबाद के आठवें निजाम ने तुर्की में तोड़ा दम

हैदराबाद के आठवें निजाम ने तुर्की में तोड़ा दम

हैदराबाद के आठवें और आखिरी निजाम (नाम के) मीर बरकत अली खान ने 89 साल की उम्र में शनिवार को तुर्की की राजधानी इस्तांबुल में अंतिम सांसें लीं। यह जानकारी रविवार को उनके दफ्तर से जारी बयान में दी गई। वह प्रिंस मुकर्रम जाह बहादुर के नाम से भी जाने जाते थे। उनकी अंतिम इच्छा के मुताबिक मंगलवार को उनके पार्थिव शरीर को भारत लाकर हैदराबाद में ही सुपुर्दे खाक करना तय किया गया। इसके लिए तुर्की से उनका शव लाए जाने से पहले हैदराबाद में सारी तैयारी की गई। निजाम के दफ्तर से जारी बयान में कहा गया था, 'हमें बहुत दुख के साथ बताना पड़ रहा है कि नवाब मीर बरकत अली खान वालाशान मुकर्रम जाह बहादुर, हैदराबाद के आठवें निजाम का पिछली रात 10:30 (भारतीय समयानुसार) बजे तुर्की के इस्तांबल में निधन हो गया।' बयान में आगे कहा गया, 'आने के बाद शव को चौमहल्ला पैलेस ले जाया जाएगा और जरूरी रिवाज संपन्न करने के बाद आसफ जाही पारिवारिक मकबरे में दफनाया जाएगा। '

हैदराबाद के आठवें निजाम मीर बरकत अली खान कौन थे ?

हैदराबाद के आठवें निजाम मीर बरकत अली खान कौन थे ?

हैदराबाद के आठवें निजाम मुकर्रम जाह का निधन 12 जनवरी, 2023 को 89 साल की उम्र में हुआ। मीर बरकत अली खान हैदराबाद के आखिरी निजाम मीर उस्मान अली खान के पोते और पूर्व हैदराबाद रियासत के उत्तराधिकारी थे। भारत की स्वतंत्रता से पहले मुकर्रम जाह का जन्म देश के सबस अमीर शाही परिवारों में से एक में हुआ था। उन्होंने अपने दादा की तरह 1980 के दशक तक देश के सबसे अमीर शख्सियत का ओहदा हासिल किया था। जाह का जन्म फ्रांस में हुआ था। वह निजाम उस्मान अली खान के उत्तराधिकारी आजम जाह और तुर्की के तुर्क साम्राज्य की शाही राजकुमारी और अंतिम तुर्क खलीफा अब्दुलमेजिद द्वितीय की बेटी दुर्रू शेहवार के बेटे थे।

नेहरू के करीबी थे निजाम मीर बरकत अली खान

नेहरू के करीबी थे निजाम मीर बरकत अली खान

निजाम मीर बरकत अली खान की शिक्षा दुनिया के प्रतिष्ठित संस्थानों में हुई थी, इसमें इंग्लैंड के लंदन और कैंब्रिज के नामी संस्थान भी शामिल हैं। वह देहरादून स्थित देश के प्रसिद्ध दून स्कूल के भी छात्र रह चुके थे। उनका दाखिला लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स में भी हुआ था। जाह के बारे में कहा जाता है कि उनके देश के पहले प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू के साथ गहरे ताल्लुकात थे। 2010 में इस नाम के निजाम ने दावा किया था कि नेहरू चाहते थे कि वे किसी मुस्लिम राष्ट्र में उनके निजी प्रतिनिधि या भारतीय राजदूत बनकर काम करें।

हैदराबाद के आठवें निजाम के पास कितनी संपत्ति थी ?

हैदराबाद के आठवें निजाम के पास कितनी संपत्ति थी ?

जानकारी के मुताबिक निजाम मीर बरकत अली खान के पास 1 अरब डॉलर की संपत्ति थी। 1980 के दशक तक जाह को भारत के सबसे अमीर शख्स का दर्जा प्राप्त था। लेकिन, 1990 के दशक में एक तलाक समझौते में कुछ संपत्तियों की जब्ती के बाद उनकी प्रॉपर्ट में कमी देखी गई। हालांकि, वह कुछ ऐतिहासिक इमारतों के मालिक थे, जिनमें हैदराबाद के मशहूर चौमहल्ला पैलेस और फलकनुमा पैलेस शामिल हैं। फलकनुमा पैलेस अब एक लग्जरी होटल में तब्दील हो चुका है, जो ताज होटल ग्रुप के पास है और चौमहल्ला पैलेस अब म्यूजियम बन चुका है। फलकनुमा और चौमहल्ला के अलावा हैदराबाद में नाजरी बाग पैलेस, चिरान पैलेज और पुरानी हवेली के साथ-साथ औरंगाबाद का नौखंडा पैलेस भी उन्हीं के पास थे।

हैदराबाद के आठवें निजाम ने की थी पांच शादियां

हैदराबाद के आठवें निजाम ने की थी पांच शादियां

मीर बरकत अली खान ने अपने करीब 9 दशकों के जीवन में पांच-पांच शादियां की थीं। पहली शादी एक तुर्की रईसजादी से हुई थी। रिपोर्ट्स के अनुसार उन्होंने उसे इस वजह से तलाक दे दिया था, क्योंकि वह उनकी मर्जी के खिलाफ हैदराबाद के पैलेस से निकलकर ऑस्ट्रेलिया के सुदूर तटवर्ती इलाके स्थित एक प्रॉपर्टी में शिफ्ट कर गई थी। फिर उन्होंने बीबीसी की एक पूर्व कर्मचारी से शादी की, जो एक एयरहोस्टेस भी थी। 1992 में दूसरी बीवी के निधन के बाद उन्होंने मिस तुर्की मनोल्या ओनुर से निकाह किया। फिर उन्होंने एक मोरक्को की महिला और फिर से एक तुर्की महिला शादी की थी।

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हैदराबाद के आठवें निजाम का पूरा नाम किया था ?

हैदराबाद के आठवें निजाम का पूरा नाम किया था ?

उनका पूरा नाम इस तरह से है- हिज एक्सैल्टेड हाइनेस प्रिंस रुस्तम-ए-दौरान, अरुस्तु-ए-जमान,वाल मामालुक, आसफ जाह VIII, मुजफ्फर उल-मामालिक, निजाम उल-मुल्क, निजाम उद-दौला, नवाब मीर बरकत अली खान सिद्दीकी बहादुर, सिपाह सालार, फथ जंग, हैदराबाद और बरार के निजाम। (कुछ तस्वीरें सौजन्य-ट्विटर)

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English summary
Mir Barkat Alin Khan, the eighth Nizam of Hyderabad, has passed away in Istanbul, the capital of Turkey. He did five marriages in his life. He was the richest man in India till the 1980s
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