अपनी इस मुराद को पूरा करने के लिए दाऊद को भारत में मरना होगा
नयी दिल्ली (ब्यूरो)। दाऊद इब्राहिम- जिस शख्स को 11 मुल्कों की पुलिस ढूंढ रही है, जिसे खौफ का दूसरा नाम बोला जाता है, जिसने काले कारनामों की कंपनी (डी कंपनी) खोल रखी है और जिसके नाम से पहले अंडरवर्ल्ड डॉन लगता है उसके लिए शायद ही कोई ऐसी मुराद होगी जो पूरी ना हो पाए। लेकिन दाऊद की एक ऐसी इच्छा (Wish) है जो तभी पूरी हो सकती है जब वो भारत में मरे। सीधे शब्दों में कहें तो अपनी इस मुराद को पूरा करने के लिए दाऊद को भारत में मरना होगा।
यह वही कब्रिस्तान है जहां गुरुवार को याकूब मेमन को दफनाया गया। सूत्रों से जो जानकारी मिली है उसके मुताबिक दाऊद ने बड़ा कब्रिस्तान में अपने लिए कब्र भी बुक चुका है। चुकि दाऊद भारत का भगोड़ा अपराधी और उसके पाकिस्तान में होने की अटकलें लगायी जाती हैं इसलिए अगर वो पाकिस्तान में मरा तो उसकी यह इच्छा पूरी नहीं होगी। क्योंकि पाकिस्तान कभी यह स्वीकार नहीं करेगा कि डी कंपनी के सरगना को उसने अपने यहां शरण दे रखी थी और उसे भी उसके भाई नूरा की तरह पाकिस्तान में ही दफना दिया जायेगा।
2009 में मरा था नूरा
सूत्रों की मानें तो वर्ष 2009 में दाऊद के छोटे भाई नूरा की मौत हो गई थी तो उसे भी इसी कब्रिस्तान में दफन किया जाना था मगर इंटरनेशनल प्रेशर्स के चलते उसका शव मुंबई नहीं लाया गया और फिर उसे कराची में ही एक गोपनीय स्थान पर दफन कर दिया गया था।
अपने पिता की कब्र पर कई ट्रक गुलाब की पंखुड़ियां रखवाई थी दाऊद ने
पुराने लोगों का कहना है कि पिता की मौत के बाद दाऊद इब्राहिम ने उनकी कब्र पर चढ़ाने के लिए कई ट्रक गुलाब की पंखुड़ियां मंगवाई थीं। उनकी खुशबू तीन दिन तक पूरे कब्रिस्तान में फैली रही थी। डी कंपनी के पुराने लोग बताते हैं कि दाऊद भी अपने लिए यहीं माता-पिता के पास जगह पाने की इच्छा व्यक्त करता रहा है।