स्टेच्यू ऑफ यूनिटी और दुनिया की 10 सबसे ऊंची मूर्तियां
अहमदाबाद। सरदार वल्लभभाई पटेल की 137वीं जयंती के मौके पर उनकी एक मूर्ति की नींव डाली गई। यह मूर्ति जिसे स्टेच्यू ऑफ यूनिटी का नाम दिया गया है, दुनिया की सबसे ऊंची प्रतिमा होगी। अगर आपके मन में अमेरिका के स्टेच्यू ऑफ लिबर्टी आ रहा है, तो हम आपको बता दें कि पटेल की यह प्रतिमा उसकी पांच गुनी ऊंची होगी। प्रतिमा की ऊंचाई 182 (597 फुट)मीटर होगी।
पटेल की यह प्रतिमा गुजरात में बहने वाली नर्मदा नदी के बीच स्थित एक टापू पर बनायी जाएगी, जिसमें करीब 2063 करोड़ रुपए का खर्च आयेगा। इस प्रस्तावित मूर्ति का निर्माण अगले चार वर्ष में पूरा हो जायेगा। इस मूर्ति के निर्माण में लोहे और कॉन्क्रीट सीमेंट का इस्तेमाल किया जायेगा और ऊपर से कांस्य की कोटिंग की जायेगी। गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी का यह ड्रीम प्रोजेक्ट है और उन्होंने इस मूर्ति के लिये देश भर से लोहा इकठ्ठा करने की बात कही है।
इस
मूर्ति
के
लिये
लोहे
को
गांव-गांव
से
एकत्र
किया
जायेगा।
एक
गांव
से
लोहे
का
एक
टुकड़ा
इकठ्ठा
किया
जा
रहा
है,
जिसका
भार
एक
किलो
से
ज्यादा
नहीं
होगा,
ताकि
यह
मूर्ति
किसानों
के
खून
पसीने
की
याद
दिलाये
और
देश
भर
के
किसानों
के
एक
होने
का
प्रतीक
बने।
देश
भर
से
जितना
लोहा
इकठ्ठा
होगा,
उसे
पिघला
कर
मूर्ति
में
लगाया
जायेगा।
जिन
किसानों
के
लोहे
के
टुकड़े
लगाने
लायक
नहीं
होंगे,
उन्हें
मूर्ति
के
चारों
ओर
बनाये
जाने
वाले
परिसर
में
लगा
दिया
जायेगा।
अगर
कम
पड़ा
तो
स्टील
अथॉरिटी
ऑफ
इंडिया
से
लोहा
लिया
जायेगा।
इस
मूर्ति
के
साथ-साथ
सरदार
सरोवर
निगम
परियोजना
के
अंतर्गत
उसी
क्षेत्र
में
करीब
400
फुट
ऊंचा
एक
डेक
बनाया
जायेगा,
जहां
पर
एक
साथ
200
लोग
खड़े
होकर
इस
मनोरम
दृश्य
का
लुत्फ
उठा
सकेंगे।
उस
डेक
से
सत्पुड़ा
और
विंध्याचल
के
पहाड़ों
का
भी
नजारा
देखने
को
मिलेगा।
हम आपको बता दें कि भारत में अब तक की सबसे ऊंची मूर्ति भगवान बजरंग बली की विजयवाड़ा आंध्र प्रदेश में है। उसकी ऊंचाई 41 मीटर यानी 135 फुट है। इस मूर्ति का निर्माण 2003 में किया गया था।
सरदार पटेल की प्रस्तावित मूर्ति
स्टेच्यू ऑफ यूनिटी: सरदार पटेल की यह मूर्ति 182 मीटर ऊंची होगी यानी 597 फुट। यह मूर्ति नरमदा नदी के बीच में बने एक टापू पर बनायी जायेगी। इसकी आधारशिला नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को रखी।
स्प्रिंग टेम्पल बुद्धा
चीन में भगवान गौतम बुद्ध की मूर्ति स्प्रिंग टेम्पल बुद्धा में स्थापित इस मूर्ति की ऊंचाई 128 मीटर यानी 420 फुट है। इस मूर्ति की स्थापना वर्ष 2002 में की गई थी।
लेयक्युन सेटक्यार
2008 में स्थापित भगवान बुद्ध की इस मूर्ति का नाम लेयक्युन सेटक्यार है और इसकी ऊंचाई 116 मीटर यानी 381 फुट है। यह मूर्ति 13.5 मीटर ऊंचे चबूतरे पर रखी है, यानी कुल ऊंचाई 130 मीटर होती है।
उशिकु दायबुत्सु
जापान में उशिकु दायबुत्सु की मूर्ति 1995 में बनायी गई। यह भगवान बुद्ध की मूर्ति है और इसकी ऊंचाई 110 मीटर यानी 360 फुट है। यह एक सिंहासन पर स्थापित है, जिसकी ऊंचाई 10 मीटर है। यानी कुल ऊंचाई 120 मीटर है।
नानशान हाइशांग गुनयिन
2005 में चीन में बनायी गई मूर्ति नानशान हाइशांग गुनयिनकी ऊंचाई 108 मीटर है। यह मूर्ति भगवान बुद्ध के मंदिर में स्थित है।
एम्परर यान एंड हुआंग
वर्ष 2007 में राजा यान एंड हुआंग की मूर्ति बनायी गई। इस मूर्ति का निर्माण चीन के हेनान शहर में किया गया, जिसकी ऊंचाई 106 मीटर यानी 348 फुट है।
सेंदई डाइकानोन
1991 में जापान के सेन्दई में सेंदई डाइकानोन की मूर्ति बनायी गई, जिसकी ऊंचाई 100 मीटर यानी 330 फुट है।
कियांशु कियांन
चीन के हुनान प्रांत में कियांशु कियांन नाम की मूर्ति गुनियिन ऑफ वीशान की है, जिसकी ऊंचाई 99 मीटर है। यह मूर्ति कांस्य की बनी है।
पीटर दि ग्रेट स्टेच्यू
रूस के मॉस्को शहर में पीटर दि ग्रेट मूर्ति की स्थापना 1997 में की गई थी। इसकी ऊँचाई 96 मीटर है।
ग्रेट बुद्धा ऑफ थाईलैंड
2008 में थाईलैंड के आंग थोंग शहर में गौतम बुद्ध की मूर्ति बनायी गई, जिसकी ऊंचाई 92 मीटर यानी 302 फुट है।
डाइ कन्नोन ऑफ किटा
जापान में 1989 में डाइ कन्नोन ऑफ किटा की मूर्ति बनी, जिसकी ऊंचाई 88 मीटर है।