टाटा ट्रस्ट के खिलाफ साइरस मिस्त्री ने नहीं दाखिल किया है कैवेट
इससे पहले यह खबर थी कि साइरस मिस्त्री ने टाटा के खिलाफ 4 कैवेट दाखिल किए हैं।
मुंबई। टाटा ग्रुप के चेयरमैन पद से हटाए गए साइरस मिस्त्री ने रतन टाटा और दोराबजी टाटा ट्रस्ट के खिलाफ नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्युनल में कोई प्रतिवाद दाखिल नहीं किया है।
इससे पहले मीडिया रिपोर्ट्स में कहा जा रहा था कि मिस्त्री ने चार कैवेट दाखिल किए हैं। हालांकि इस मामले पर मिस्त्री के ऑफिस ने बयान देकर स्पष्ट किया है कि उनकी ओर से कोई कैवेट दाखिल नहीं किया गया है।
Cyrus Mistry has not filed any caveats.He has already made a statement that such concerns are misplaced at this stage: Mistry's office #Tata
— ANI (@ANI_news) October 25, 2016
कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में कहा गया है कि टाटा सन्स ने पहले ही नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्युनल समेत सभी कोर्ट में कैवेट दाखिल कर दिया है। आपको बता दें कि एक कैवेट यह सुनिश्चित करता है कि जब तक दूसरा पक्ष उपस्थित नहीं होगा, तब तक कोर्ट कोई आदेश जारी नहीं करेगा।
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टाटा समूह के चेयरमैन पद से अचानक हटाए जाने के फैसले से साइरस मिस्त्री नाखुश हैं। मिस्त्री के साथ-साथ टाटा संन्स के सबसे बड़े शेयर होल्डर शापूरजी और पालोनजी ग्रुप भी इस फैसले के खिलाफ हैं। टाटा के इस फैसले से नाराज साइरस मिस्त्री ने यह कदम उठाया है।
टाटा के 18 प्रतिशत शेयर के मालिक पालोनजी ग्रुप ने भी साइरस मिस्त्री को चेयरमैन के पद से इस तरह हटाए जाने के फैसले पर अपनी नाराजगी जताई। उन्होंने इसे अवैध बताते हुए कहा कि वो इस फैसले को कानूनी चुनौती देंगे।
अगस्त में ही हो गया था मिस्त्री को निकालने का फैसला, रतन टाटा भी थे नाराज!